Site icon 24 GhanteOnline | News in Hindi | Latest हिंदी न्यूज़

6 दिन के बेटे का 3.60 लाख में हुआ सौदा, मां-बाप गिरफ्तार

दक्षिण जिले के फतेहपुर बेरी इलाके में एक बच्चे की खरीद फरोख्त का मामला सामने आया है। एक दंपति ने अपने नवजात शिशु को 3.60 लाख रुपए में बेच दिया। इस बच्चे को खरीदने वाले दंपति को शादी के 25 साल बाद भी बच्चा नहीं हो सका था। उन्हें बेटे की ही चाहत थी। डील पुरी हो चुकी थी, जिसके तहत दो लाख कैश और 1 लाख 60 हजार रूपए चार चेक के जरिए दिए गए थे। दंपति इन चेक को कैश कराने बैंक गया तो पता चला चेक कुछ दिन बाद की तारीख के हैं। वे पढ़े लिखे भी नहीं हैं, ऐसे में दंपति को शक हुआ कि कहीं उनके साथ धोखा तो नहीं हुआ है, इसलिए उन्होंने बच्चे की किडनैपिंग की कॉल कर दी। मामला पुलिस के पास पहुंचा, जांच आगे बढ़ी, जिसके बाद पूरे मामले से पर्दा उठ गया। इस केस में पुलिस ने बच्चे को बेचने वाले दंपति और खरीदने वाले समेत छह लोगों को गिरफ्तार किया है।

इनमें दो लोग बच्चे का सौदा कराने वालों में शामिल हैं। आरोपितों की पहचान मधुबनी बिहार निवासी 50 साल के विद्यानंद, उनकी पत्नी 45 साल की रामपरी देवी, 32 साल का रमन कुमार, आया नगर फेस तीन निवासी हरिपाल सिंह, गुड़गांव निवासी तीस साल का गोविन्द कुमार और उसकी 22 साल की पत्नी पूजा के रूप में हुई है। पुलिस ने मामला चालीस हजार रूपए के चार चेक, 15 हजार कैश, 80 हजार कैश निकालने की दो रसीद, आरोपितों के तीन मोबाइल बरामद किए हैं।

डीसीपी अतुल कुमार ठाकुर ने बताया की 15 जून को पीसीआर कॉल मिली थी आया नगर में रहने वाले एक दंपति का 6 दिन के बेटे का अपहरण हो गया है सूचना के बाद मौके पर पहुंची पुलिस टीम को गोविन्द कुमार ने बताया उसकी पत्नी पूजा ने 8 जून को बेटे को जन्म दिया था। यह उनका दूसरा बेटा था। पांच साल का बेटा विलेज में रहता है। घर में जगह की कमी को देख उसके दोस्त हरिपाल सिंह ने उन्हें अपने घर रहने के लिए बुला लिया था।14 जून को जब हम सो गए तो हरिपाल बाहर से दरवाजा बंद कर बच्चे को लेकर फरार हो गया। इस शिकायत के आधार पर पुलिस ने किडनैपिंग का केस दर्ज किया।

एसीपी रणबीर सिंह और फतेहपुर बेरी थाना इंचार्ज कुलदीप सिंह की टीम ने जांच शुरू की। पुलिस गोविन्द को लेकर हरिपाल के घर पहुंच गई। बाद में पुलिस ने हरिपाल को आया नगर इलाके से ट्रेस कर लिया। हरिपाल से पूछताछ में खुलासा हुआ इस दंपति ने खुद अपने बच्चे को उसके दोस्त रमन यादव के रिश्तेदार को दिया था। रमन यादव मोती बाग़ एरिया में रहता है। पुलिस रमन के घर पहुंच गई, जिसने बताया इस दंपति ने उसके रिश्तेदार को अपना बच्चा बेचा था। साथ में ये भी बताया उसके रिश्तेदार आज ही दिल्ली छोड़ ट्रेन पकड़ जा चुके हैं।

पुलिस को पता चला ट्रेन ढाई बजे आधी रात में कानपुर सेंट्रल पहुंचेगी। पुलिस ने नजदीकी रेलवे स्टेशन के पुलिस थाने को मामले से अवगत करवाया, फोटो, नाम और दंपति के बर्थ नंबर भी दे दिए। जिसके बाद लोकल पुलिस ने इस दंपति को रोक दिल्ली पुलिस को सूचना दे दी। पुलिस की एक टीम कानपुर पहुंच आरोपी दंपति और नवजात को लेे आई। पुलिस जांच में खुलासा हुआ इस दंपति को शादी के पच्चीस साल बाद भी कोई बच्चा नहीं हुआ था। इसलिए उन्होंने अपना वंश चलाने के लिए अपने रिलेटिव रमन को बताया कि वह बच्चा लेना चाहते हैं। रमन ने यह बात हरिपाल से शेयर की। हरिपाल ने बताया एक गरीब कपल उसकी नजर में है, जिसे रुपए देकर बच्चा लिया जा सकता है।

हरिपाल ने गोविन्द से इस बारे में बात की। गोविन्द और उसकी पत्नी पूजा चार लाख रुपए में बच्चा देने को राजी हो गए। लेकिन इस डील का सौदा आखिर में 3 लाख 60 हजार रूपए में हरिपाल के घर पर हुआ। बाकायदा 12 जून को इस डील का एक एग्रीमेंट भी दोनों पार्टी के बीच हुआ। इस खुलासे के बाद पुलिस ने इस मामले से जुड़े सभी छह किरदार को गिरफ्तार कर लिया।

Exit mobile version