Site icon 24 GhanteOnline | News in Hindi | Latest हिंदी न्यूज़

लॉन्ग कोविड के 70 फीसदी मरीजों के डैमेज हो रहे ऑर्गन्स

coronavirus

coronavirus

लाइफस्टाइल डेस्क। कोरोना वायरस महामारी से केवल एक देश नहीं बल्कि पूरी दुनिया प्रभावित है। अधिकांश मामलों में ये भी देखने के लिए मिला है कि इस घातक वायरस से संक्रमित कोई भी दो व्यक्ति एक जैसे लक्षणों से पीड़ित नहीं होते हैं। बता दें कि कोरोना मरीजों में संक्रमण के गंभीर लक्षण लॉन्ग कोविड के खतरे को भी बढ़ा सकता है।

लॉन्ग कोविड यानी लंबे समय के लिए कोरोना वायरस के संक्रमण से कई लोगों के प्रभावित होने की बात सामने आ रही है। लॉन्ग कोविड युवाओं और स्वस्थ लोगों के ऑर्गन्स को भी डैमेज कर रहा है। हाल ही में हुई एक स्टडी में इस बात के सबूत मिले हैं।

कोरोना संक्रमित लो-रिस्क ग्रुप वाले मरीजों के 4 महीने बाद कई ऑर्गन्स डैमेज पाए गए। इस स्टडी में उन लक्षणों के बारे में भी पता चला, जो जो कोरोना से ठीक हुए मरीजों में काफी समय तक बने रहते हैं। इसे ही लॉन्ग कोविड कहते हैं।

लॉन्ग कोविड के 4 बड़े लक्षण

स्टडी में क्या आया सामने?

कवर स्कैन द्वारा की गई इस स्टडी में 500 लोगों को शामिल किया गया था। इनलोगों के शुरुआती रिपोर्ट से पता चला कि 70 फीसदी मरीजों के एक या एक से ज्यादा ऑर्गन को कोरोना ने नुकसान पहुंचाया है। इनमें हार्ट, लंग, लिवर और पैंक्रियाज जैसे अंग शामिल हैं। हालांकि, ये नुकसान बहुत हल्के हैं। स्टडी के मुताबिक, करीब 25 फीसदी लोगों में कोरोना ने दो या इससे भी अधिक ऑर्गन्स को प्रभावित किया है।

ब्रिटेन में कोरोना के 40 हजार मरीजों पर एक रिसर्च किया गया। इस रिसर्च में 20 फीसदी लोगों ने कहा कि संक्रमण के 1 माह बाद भी वे पूरी तरह से रिकवर नहीं हो पाए। वहीं 190 मरीजों में कोरोना के लक्षण लगातार 8 से 10 हफ्ते तक दिखे। इसका साथ ही 100 मरीजों ने कहा कि संक्रमण के 10 हफ्ते बाद तक वो परेशान हुए।

एम्स दिल्ली में रुमेटोलॉजी डिपार्टमेंट की हेड डॉ. उमा कुमार का कहना है कि कोरोने से रिकवर हुए मरीजों को लॉन्ग कोविड से डरने की बजाय केयरफुल रहने की जरूरत है। क्योंकि कई समस्याएं मरीजों को आगे भी परेशान कर सकती हैं। इसलिए कोरोना से बचने के लिए जरूरी सभी सावधानियों का ध्यान रखें।

Exit mobile version