• About us
  • Privacy Policy
  • Disclaimer
  • Terms & Conditions
  • Contact
24 Ghante Latest Hindi News
  • होम
  • राष्ट्रीय
    • उत्तराखंड
    • उत्तर प्रदेश
    • छत्तीसगढ़
    • हरियाणा
    • राजस्थान
  • राजनीति
  • अंतर्राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • मनोरंजन
  • शिक्षा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म
  • होम
  • राष्ट्रीय
    • उत्तराखंड
    • उत्तर प्रदेश
    • छत्तीसगढ़
    • हरियाणा
    • राजस्थान
  • राजनीति
  • अंतर्राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • मनोरंजन
  • शिक्षा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म
No Result
View All Result

नवरात्रि पर क्या है कलश स्थापना का शुभ मुहूर्त, जानिए विधि, मंत्र

Desk by Desk
16/10/2020
in Main Slider, ख़ास खबर, धर्म, फैशन/शैली
0
Shardiya Navratri

Shardiya Navratri

14
SHARES
176
VIEWS
Share on FacebookShare on TwitterShare on Whatsapp

धर्म डेस्क। शारदीय नवरात्रि का त्योहार 17 अक्तूबर, शनिवार से आरंभ होने जा रहा है। हिंदू पंचांग के अनुसार हर वर्ष आश्विनमास के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि पर घटस्थापना के साथ नौ दिनों तक देवी दुर्गा की आराधना की जाती है। इस बार मलमास का महीना होने के कारण जिसे अधिकमास भी कहते हैं नवरात्रि एक महीने की देरी शुरू हो रहे हैं।

नवरात्रि का अर्थ होता है नौ रातें। ऐसे में इन नौ दिनों में देवी के नौ अलग-अलग स्वरूपों की पूजा की जाती है। सभी नवरात्रि में चैत्र और अश्विन माह के नवरात्रि का विशेष महत्व होता है। नवरात्रि के पहले दिन कलश स्थापना करके लगातार नौ दिनों तक उपवास और साधना करते हुए नवमी तिथि पर नवरात्रि की समाप्ति होती है।

नवरात्रि का महत्व

मान्यता है कि नवरात्रि पर देवी दुर्गा पृथ्वी पर आती हैं, जहां वे नौ दिनों तक वास करते हुए अपने भक्तों की साधना से प्रसन्न होकर उनको आशीर्वाद देती हैं। नवरात्रि पर देवी दुर्गा की साधना और पूजा-पाठ करने से आम दिनों के मुकाबले पूजा का कई गुना ज्यादा फल की प्राप्ति होती है।

नवरात्रि पर ही विवाह को छोड़कर सभी तरह के शुभ कार्यों की शुरुआत करना और खरीदरारी करना बेहद ही शुभ माना जाता है। मान्यता है भगवान राम ने भी लंका पर चढ़ाई करने से पहले रावण संग युद्ध में विजय प्राप्ति के लिए देवी की साधना की थी। नवरात्रि पर सभी शक्तिपीठों पर विशेष आयोजन किए जाते हैं जहां पर भारी संख्या में लोग माता का आशीर्वाद प्राप्त करने के लिए उनके दरबार में शीश झुकाने जाते हैं।

नवरात्रि घटस्थापना का महत्व

नवरात्रि के पहले दिन घटस्थापना की जाती है जिसे कलश स्थापना भी कहते हैं। पहले दिन घटस्थापना का विशेष महत्व होता है। प्रतिपदा तिथि पर कलश स्थापना के साथ ही नौ दिनों तक चलने वाला नवरात्रि का पर्व आरंभ हो जाता है। पहले दिन में विधि-विधान से घटस्थापना करते हुए भगवान गणेश की वंदना के साथ माता के पहले स्वरूप शैलपुत्री की पूजा, आरती और भजन किया जाता है।

घटस्थापना 2020 शुभ मुहूर्त

17 अक्तूबर को सुबह 6 बजकर 10 मिनट से 10 बजकर 11 मिनट तक घट स्थापना किया जा सकता है। इसके अतिरिक्त दिन के अभिजीत मुहूर्त में कलश स्थापना करना सबसे बढ़िया और उत्तम समय माना जाता है। शनिवार के दिन अभिजीत मुहूर्त सुबह 11 बजकर 43 मिनट से लेकर 12 बजकर 28 मिनट तक रहेगा।

इस मुहूर्त में कलश स्थापना करके नवरात्रि का शुभारंभ कर सकते हैं। शास्त्रों के अनुसार नवरात्रि पर कलश स्थापना के लिए सभी 27 नक्षत्रों में से पुष्य, उत्तराफाल्गुनी, उत्तराषाढ़, उत्तराभाद्रपद, हस्ता, रेवती, रोहिणी, अश्विनी, मूल, श्रवण, धनिष्ठा और पुनर्वसु शुभ होता है।

नवरात्रि पूजा सामग्री

नवरात्रि पर कलश स्थापना के लिए कुछ पूजा की चीजों का आवश्कता होती है

  • मिट्टी का कलश
  • सात तरह के अनाज – पवित्र मिट्टी
  • गंगाजल
  • पान और सुपारी
  • जटा नारियल
  • अक्षत
  • माता की लाल चुनरी
  • फूल और श्रृंगार का सामान
  • आम के पत्ते

घटस्थापना विधि

शारदीय नवरात्रि 2020 के पहले दिन यानी प्रतिपदा तिथि पर सुबह शुभ मुहूर्त को ध्यान में रखते हुए घर के उत्तर-पूर्व दिशा में कलश स्थापना के लिए उपयुक्त होती है। इसके लिए घर के उत्तर-पूर्वी हिस्से में अच्छे से साफ-सफाई करनी चाहिए। घटस्थापना वाले स्थान को गंगा जल से स्वच्छ करें और जमीन पर साफ मिट्टी बिछाएं, फिर उस साफ मिट्टी पर जौ बिछाएं। इसके बाद फिर से उसके ऊपर साफ मिट्टी की परत बिछाएं और उस मिट्टी के ऊपर जल छिड़कना चाहिए। फिर उसके ऊपर कलश स्थापना करनी चाहिए।

गले तक कलश को शुद्ध जल से भरना चाहिए और उसमें एक सिक्का रखना चाहिए। कलश के जल में गंगा जल अवश्य मिलाएं। अगर संभव हो तो कुछ और पवित्र नदियों का जल भी आप कलश के जल में मिला सकते है। इसके बाद कलश पर अपना दाहिना हाथ रखकर इस मंत्र का जाप करना चाहिए।

गंगे! च यमुने! चैव गोदावरी! सरस्वति!

नर्मदे! सिंधु! कावेरि! जलेSस्मिन् सन्निधिं कुरु।।

Tags: navratri 2020navratri ghat sthapna muhuratnavratri kalash sthapana muhuratnavratri kalash sthapana timenavratri muhurat 2020navratri puja samagrinavratri puja vidhishardiya navratriShardiya Navratri 2020नवरात्रि 2020
Previous Post

उप्र सरकार ने फ्लैटेड फैक्ट्री के निर्माण की दी मंजूरी : सहगल

Next Post

विपक्ष प्रदेश की शान्ति व कानून व्यवस्था को बिगाड़ने की कोशिश कर रहा : स्वतंत्र देव

Desk

Desk

Related Posts

Guava Pudding
खाना-खजाना

मीठे में बनाएं ये स्पेशल हलवा, सब हो जाएंगे खुश

05/11/2025
Chaitra Purnima
धर्म

कार्तिक पूर्णिमा के दिन न करें ये काम, अशुभ परिणामों से घिर जाएगा जीवन

05/11/2025
Kartik Purnima
Main Slider

कार्तिक पूर्णिमा पर जलाए कितने दीपक, जाने दीपदान की विधि

05/11/2025
Kartik Purnima
धर्म

कार्तिक पूर्णिमा पर करें तुलसी पूजा, जानें पूजन विधि और मुहूर्त

05/11/2025
Guru Nanak
Main Slider

कब मनाई जाएगी गुरु नानक जयंती? जानें पर्व का महत्व

05/11/2025
Next Post

विपक्ष प्रदेश की शान्ति व कानून व्यवस्था को बिगाड़ने की कोशिश कर रहा : स्वतंत्र देव

यह भी पढ़ें

Drowned

औरल घाट पर गंगा में डूबे सभी 6 लोगों के शव बरामद

06/10/2022
CM Yogi

सीएम का आह्वान- भगवान राम के विराजमान के बाद यह पहला दीपोत्सव,सभी के घरों में दीप जलने चाहिए

29/10/2024
सड़क हादसा

बहराइच में भीषण सड़क हादसा : तेज रफ्तार ट्रक ने वैन को मारी टक्कर, छह की मौत

02/11/2020
Facebook Twitter Youtube

© 2022 24घंटेऑनलाइन

  • होम
  • राष्ट्रीय
    • उत्तराखंड
    • उत्तर प्रदेश
    • छत्तीसगढ़
    • हरियाणा
    • राजस्थान
  • राजनीति
  • अंतर्राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • मनोरंजन
  • शिक्षा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म

© 2022 24घंटेऑनलाइन

Go to mobile version