नई दिल्ली। सरकार-किसान संगठनों की सातवें दौर की बैठक खत्म हो गई है। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार अब अगली बैठक आगामी चार जनवरी को होगी। साथ ही किसानों ने आंदोलन जारी रखने का निर्णय लिया है।कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने बताया कि किसान संगठनों ने जो चार बिंदु रखे थे। उनमें से दो बिन्दुओं पर सहमति बन गई है। सरकार ने कहा कि तीनों कृषि कानूनों से जुड़ी मांगों और मुद्दों पर चर्चा करने के लिए एक समिति बनाई जा सकती है । किसान नेताओं और सरकार की कई घंटों की बैठक के बाद भी कोई नतीजा नहीं निकला है। सरकार ने कानूनों से जुड़ी जानकारी दी । कहा कि कानून बनाने और वापस लेने की एक लंबी प्रक्रिया है ।
इस बैठक के बाद केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि हम पहले भी कहते रहे हैं कि एमएसपी जारी है, जारी रहेगी। सरकार यह लिखित में भी देने को तैयार है। लेकिन किसानों को लगता है कि एमएसपी को कानूनी दर्जा मिलना चाहिए। इस पर अभी पूरी चर्चा बाकी है। पर्यावरण संबंधी अध्यादेश पर रजामंदी हो गई है।
Govt has been saying that MSP will continue. We are ready to give this in writing. But farmers' unions feel MSP should get legal status. So the discussion will continue on the legal aspect of MSP & other issues on Jan 4 at 2 pm: Union Agriculture Minister Narendra Singh Tomar https://t.co/BoRiBMaoxw
— ANI (@ANI) December 30, 2020
बिजली बिल को लेकर भी सहमति बन गई है। पराली के मुद्दे पर भी रजामंदी हो गई है। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि मुद्दों पर किसान-सरकार के बीच 50 फीसदी सहमति बन गई है। किसानों के लिए सम्मान और संवेदना है। आशा है कि किसान और सरकार में सहमति बनेगी। समिति बनाने के लिए सरकार पहले दिन से तैयार है। तोमर ने कहा कि हम चार जनवरी को दोपहर दो बजे एक बार फिर इकट्ठा होंगे और एमएसपी पर चर्चा को आगे बढ़ाएंगे।
किसानों का प्रदर्शन जारी रहेगाः राकेश टिकैत
किसान नेता राकेश टिकैत ने कहा कि सरकार ने हमारी दो मांगों को मान लिया है। आज की बातचीत अच्छी रही। अब चार जनवरी को अगली वार्ता होगी, तब तक शांतिपूर्ण ढंग से किसानों का प्रदर्शन जारी रहेगा।
#UPDATE | The sixth round of meeting between farmer leaders and the government concludes.
The next meeting will take place on January 4. https://t.co/0K85COVW75 pic.twitter.com/e40evVcH5a
— ANI (@ANI) December 30, 2020
कृषि मंत्री ने कहा कि मुझे इस बात की खुशी है कि किसान यूनियन के नेताओं ने आंदोलन में पर्याप्त अनुशासन बनाए रखने का प्रयत्न किया है। मुझे विश्वास है कि वे आगे भी ऐसा करेंगे। उन्होंने कहा कि सरकार किसानों की आय दोगुनी करने और कृषि के क्षेत्र में निजी निवेश को बढ़ावा देने के लिये अभूतपूर्व कार्य कर रही है। किसानों के मुद्दों पर सरकार संवदेना से विचार कर रही है और उन्हें आशा है कि आगे की बैठक में इसका समाधान हो जाएगा। उन्होंने कहा कि 86 प्रतिशत लघु और सीमांत किसान हैं जिनकी आर्थिक स्थिति में सुधार के लिये सरकार हर संभव प्रयास कर रही है।
सरकार बातचीत के जरिए मामले को सुलझाना चाहती है तो यह अच्छी बात है। किसान तो बातचीत के लिए तैयार हैं। किसान बातचीत में अड़चन पैदा नहीं कर रहे हैं। बॉर्डर सील होने से जनता को नुकसान हो रहा है। यह हमारी मजबूरी है,अपनी बात कहां रखे?: नरेश टिकैत, भारतीय किसान यूनियन के अध्यक्ष pic.twitter.com/bGyN8SH5kd
— ANI_HindiNews (@AHindinews) December 30, 2020
भारतीय किसान यूनियन के अध्यक्ष नरेश टिकैत ने कहा कि सरकार बातचीत के जरिए मामले को सुलझाना चाहती है तो यह अच्छी बात है। किसान तो बातचीत के लिए तैयार हैं। किसान बातचीत में अड़चन पैदा नहीं कर रहे हैं। बॉर्डर सील होने से जनता को नुकसान हो रहा है। यह हमारी मजबूरी है, अपनी बात कहां रखें?