फिल्म जगत में अपनी खास पहचान बनाने वाले मुजफ्फरपुर के कलाकार विजय खरे (Vijay Khare) का निधन हो गया है। वे मुजफ्फरपुर में पहली बार किसी फिल्म की शूटिंग करवाने वाले अभिनेता थे। वह कुछ दिनों से किडनी से जुड़ी समस्या से परेशान थे। उन्हें बेंगलुरु के कावेरी अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती कराया गया था। उनकी हालत स्थिर बनी हुई थी लेकिन रविवार सुबह 4 बजे अचानक तबीयत बिगड़ने के बाद उन्होंने जिंदगी को अलविदा कह दिया। इस घटना ने बिहार के कलाकारों और जनता के बीच शोक की लहर है। उनके निधन की खबर मिलते ही मुजफ्फरपुर के मालीघाट निवास स्थान में कलाकारों का जमावड़ा लगना शुरू हो गया। भोजपुरी फिल्म इंडस्ट्री में उन्हें गब्बर सिंह के नाम से पहचाना जाता था।
फिल्मों में खलनायक कि भूमिका निभाने के लिए मशहूर विजय खरे (Vijay Khare) की कुछ मशहूर फिल्मों की बात करें तो इसमें गंगा किनारे मोरा गांव (1983) रायजादा (1976), हमरा से बियाह करबा (2003) शामिल हैं। सदी के महानायक अमिताभ बच्चन के साथ फिल्म में काम किया। उनके दमदार अभिनय ने उन्हें भोजपुरी में एक स्थायी विरासत दिलाई।
फिल्म उद्योग में उनके महत्वपूर्ण योगदान के लिए 2019 में लाइफटाइम अचीवमेंट अवार्ड से सम्मानित किया गया। उन्हें यह अवॉर्ड कोलकाता के नेताजी सुभाष चंद्र बोस स्टेडियम में दिया गया। भोजपुरी जगत के महानायक विजय खरे काफी समय से डायलिसिस पर थे।
फेमस तबला वादक जाकिर हुसैन की हालत गंभीर, अमेरिका के हॉस्पिटल में एडमिट
दरअसल वे पार्किंसन बीमारी से ग्रसित थे। लंबे समय से उनका इलाज चल रहा था। उन्होंने 300 से अधिक भोजपुरी फिल्मों तथा 50 हिंदी फिल्मों में काम किया और बिहार का नाम देशभर में रोशन किया। अपने पीछे वे तीन बेटों और पत्नी को छोड़ गए है।