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कांवड़ यात्रा मार्गो और शिवालयों के पास न हो गंदगी, रोशनी का भी ना हो आभाव: एके शर्मा

AK Sharma

AK Sharma

लखनऊ। श्रावण मास के पवित्र महीना में आदि विश्वेश्वर भगवान भोलेनाथ की पूजा अर्चना का विशेष महत्व है। सभी श्रद्धालु अपने आराध्य को प्रसन्न करने के लिए विभिन्न प्रकार से पूजा अर्चना करते हैं। इसी क्रम में लाखों श्रद्धालु भगवान शिव का गंगाजल से अभिषेक करने के लिए विभिन्न क्षेत्रों से कांवड़ लेकर चलते हैं, अधिकांशतः प्रदेश के मुख्य गंगा घाटों और हरिद्वार से कांवड़ यात्रा चलती है, इसमें बच्चे, बूढ़े, जवान, महिला, पुरुष सभी शामिल होते हैं। इस दौरान भक्तजन भी इन कांवड़ मार्गों पर श्रृद्धावस कांवड़ यात्रा में शामिल श्रद्धालुओं की हर संभव मदद करते है। प्रदेश सरकार भी हर संभव प्रयास कर रही है कि कहीं पर भी श्रद्धालुओं को कोई परेशानी न होने पाए।

प्रदेश के नगर विकास एवं ऊर्जा मंत्री ए.के. शर्मा (AK Sharma) ने रविवार को देर रात 8 बजे वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग कर यह बात कहीं और कांवड़ यात्रा व आने वाले त्योहारों की सभी को हार्दिक शुभकामनाएं दी। उन्होंने 22 जुलाई दिन सोमवार से श्रावण मास के पहले सोमवार से शुरू होने वाली कांवड़ यात्रा के निर्धारित मार्गो और शिवालयों पर विशेष प्रबंध करने के निर्देश नगर विकास एवं ऊर्जा विभाग के अधिकारियों को दिए।

उन्होंने (AK Sharma) कहा की कांवड़ यात्रा मार्गों और शिवालयों के आस पास कहीं पर भी गंदगी न होने पाए, साफ सफाई के बेहतर प्रबंध किया जाए। कांवड़ यात्रा मार्गों और शिवालियों के पास स्वच्छ पेयजल की आपूर्ति का भी प्रबंध किया जाए। कांवड़ यात्रा मार्गों और शिवालियों के आस पास रोशनी का आभाव न रहे, विद्युत आपूर्ति बाधित न हो, विद्युत् व्यवस्था सुदृढ़ रहे, विद्युत लाइन जर्जर और पोल झुके हुए न हो। ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में विद्युत व्यवस्था दुरुस्त रखें, विद्युत पोल, स्टेवायर, ट्रांसफार्मर सेफ्टी जाली में उतरने वाले करंट की नियमित जांच कराते रहें, स्थाई समाधान के लिए विद्युत पोल की अर्थिंग भी चेक कराए। स्ट्रीट लाइट के जंक्शन बॉक्स की भी जांच करें। जहां कहीं पर भी सड़क किनारे लाइन नीचे हो या सड़क के पास हो वहां पर विद्युत् दुर्घटना से सावधानी के बोर्ड भी लगाए। विद्युत लाइन को संपर्क करती हुई पेड़ों की शाखाओं की छटनी कराए। बिजली के स्पर्शाघात से कोई दुर्घटना न हो इसके सभी प्रबंध किए जाएं। कांवड़ यात्रा मार्गों और शिवालय क्षेत्रों में निर्बाध विद्युत आपूर्ति की जाए, निर्बाध विद्युत आपूर्ति के लिए ट्रॉली ट्रांसफार्मर की व्यवस्था की जाए। कावड़ यात्रा मार्गो में स्थापित शिविरों को समय से विद्युत कनेक्शन दिया जाए। सभी डिस्काम में मॉनिटरिंग के लिए 24 घंटे कंट्रोल रूम संचालित किया जाए। गंगा घाटों में भी बैरिकेटिंग लगाई जाए ताकि कोई भी गहरे पानी में न जाने पाए।

ए.के. शर्मा (AK Sharma) ने कहा कि कावड़ यात्रा मार्गों और शिवालयों के पास श्रद्धालुओं को संचारी रोगों, मच्छर जनित बीमारियों से बचाने के लिए चूना, ब्लीचिंग पाउडर और दवा का छिड़काव करें। कांवड़ मार्गों और शिवालियों के पास मोबाइल टॉयलेट स्थापित किए जाएं, मार्गों पर पड़ने वाले सार्वजनिक और सामुदायिक शौचालयों की साफ सफाई पर ध्यान देंगे। पेय जलापूर्ति के लिए टैंकर की उपलब्धता सुनिश्चित की जाए। कांवड़ यात्रा मार्गों की निगरानी के लिए आई.ई.सी. कैंप लगाए जाएं, मार्गों के निर्धारण के लिए शाइनेज लगाए। महिलाओं और पुरुषों के लिए चेंजिंग रूम बनाएं, प्लास्टिक मुक्त कांवड़ यात्रा के लिए कपड़े के थैले वितरित किए जाएं। दुर्घटनाएं न हो, अतः कांवड़ के निर्धारित मार्गो में कहीं पर भी निराश्रित पशु की वजह से समस्या नहीं होनी चाहिए, इसका बेहतर प्रबंधन हो। सभी निकाय अपनी पहचान और योजनाओं के प्रचार प्रसार तथा की गई सुविधाओं तक श्रद्धालुओं के आसान पहुंच के लिए पोस्टर बैनर लगाए। श्रद्धालुओं को टी-शर्ट और कैप का वितरण किया जा सकता है। सभी कार्य बेहतर ढंग से संचालित हो, इसके लिए स्वयंसेवी संस्थाओं, वालंटियर्स, सामाजिक संगठनों का भी सहयोग ले। विभागीय कार्मिक भी कार्यों की लगातार निगरानी करें और निष्ठापूर्वक कार्य करें।

केंद्र और प्रदेश की सरकार सभी की सुख सुविधाओं का रख रही ख्याल: एके शर्मा

बरसात का मौसम है विद्युत पोल, ट्रांसफार्मर की सुरक्षा जाली, स्टेवायर आदि में करंट न उतरे इसकी निरंतर निगरानी की जाए। विद्युत पोल को पॉलीथिन से कवर करें, ट्रांसफार्मर की बांस बल्ली से बैरिकेडिंग करें। कावड़ यात्रा मार्ग में जहां कहीं पर भी विद्युत लाइन सड़क के पास हो या सड़क पार कर रही हो वहां पर विशेष सतर्कता बरते, जिससे दुर्घटना की संभावना न रहे। ग्रामीण क्षेत्रों में भी एसडीओ, जेई, लाइनमैन लगातार क्षेत्रों की जाकर निगरानी करेंगे।

ए.के. शर्मा (AK Sharma) ने कहा की नगरीय क्षेत्रों तथा इसके आस पास के ग्रामीण क्षेत्रों में स्थित शिवालयों या पूजास्थलों के आसपास के क्षेत्रों तथा गलियों व सड़कों की साफ सफाई के बेहतर प्रबंधन हो, शुद्ध पेयजल की आपूर्ति सुनिश्चित की जाए, पूजा स्थलों से निकलने वाली पूजा सामग्री का समुचित निपटान के प्रबंध किया जाए। कूड़ा कचरा इधर-उधर न फैले कांवड़ यात्रा मार्गों और शिवालयों के पास डस्टबिन रखवाए जाय। पूजा स्थलों को जाने वाली सड़के व गलियां सही हालात में हो, किसी भी हाल में गड्ढे न हो। विद्युत आपूर्ति बाधित न हो, स्ट्रीट लाइट व्यवस्थित रहे, श्रद्धालु भोर 3:00 बजे से ही पूजा अर्चना के लिए शिवालयों में पहुंचने लगते हैं। कांवड़ यात्रा मार्गों वाले सभी नगरीय निकायों में क्विक रिस्पांस टीम को एक्टिव रखें। सभी नगर निगमों, नगर पालिका परिषदों व नगर पंचायतो में निगरानी के लिए 24 घंटे कंट्रोल रूम संचालित किए जाएं।

ए.के. शर्मा (AK Sharma) ने सर्वाधिक कावड़ यात्रा वाले 10 नगर निगमों में अयोध्या, मेरठ, गाजियाबाद, मुरादाबाद, प्रयागराज, वाराणसी, सहारनपुर, मथुरा, आगरा, लखनऊ तथा पांच नगर पालिका परिषदों में बागपत, मोदीनगर, मुरादनगर, गढ़मुक्तेश्वर, मुजफ्फरनगर के नगरीय निकायों और विद्युत् विभाग के अधिकारियों को विशेष प्रबंध करने तथा 24 घंटे सतर्क रहने के निर्देश दिए। कल की वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में विद्युत और नगर विकास विभाग के 1000 से अधिक अधिकारियों ने प्रतिभाग किया।

वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग में प्रमुख सचिव ऊर्जा नरेंद्र भूषण, सचिव नगर विकास अजय कुमार शुक्ला, प्रबंध निदेशक यूपीपीसीएल पंकज कुमार, सभी डिस्कॉम के निदेशक, निदेशक नगरीय निकाय अनुज कुमार झा, महाप्रबंधक जल कल/ जल संस्थान, डॉयरेक्टर इलेक्ट्रिक सेफ्टी के साथ सभी निकायों के नगर आयुक्त एवं अधिशासी अधिकारी, सभी जोन के मुख्य अभियंता तथा जिलों के अधीक्षण अभियंताओ ने वर्चुअल प्रतिभाग किया।

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