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‘बाबूजी’ ने ही बताया सरकार की धमक क्या होती है: मुख्यमंत्री योगी

Kalyan Singh

Kalyan Singh

लखनऊ। पिछले 70 वर्षों में प्रदेश में केवल 12 मेडिकल कॉलेज स्थापित हुए थे जबकि पिछले पांच वर्षों में केंद्र और राज्य सरकार के प्रयास से 35 नए मेडिकल कॉलेज बने हैं। गोरखपुर में एम्स शुरू हो चुका है, जबकि वाराणसी में कैंसर इंस्टीट्यूट शुरू हो चुका है। प्रदेश आज देश की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की ओर अग्रसर है।

वर्ष 1991 में ‘बाबूजी’ (Kalyan Singh) के शासन में जो सुशासन की नींव रखी गई थी वह आज उत्तर प्रदेश के समग्र विकास के आधार को साबित करता है। ये बातें मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को पूर्व सीएम कल्याण सिंह की प्रथम पुण्यतिथि पर कल्याण सिंह सुपर स्पेशियलिटी कैंसर संस्थान में उनकी प्रतिमा के अनावरण पर कहीं। इस दौरान मुख्यमंत्री ने संस्थान के ऑपरेशन थियेटर ब्लॉक का लोकार्पण भी किया।

बाबूजी (Kalyan Singh) ने ही बताया सरकार की क्या धमक होती है

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि जब भी सुशासन की बात आती है तो आजादी के बाद पहली ऐसी सरकार जो हम सबकी स्मृतियों में है, जिस सरकार ने जो कहा करके दिखाया, वह सच्चे अर्थों में बाबूजी (Kalyan Singh) की ही वर्ष 1991 की सरकार थी। इस सरकार ने प्रदेश में जो सुशासन के मानक तय किए थे, उसी मानक के अनुरूप अपनी कार्य पद्यतियों से गांव, गरीब, किसान, नौजवान, महिलाएं, समाज के प्रत्येक तबके के हितों के साथ ही अपनी सांस्कृतिक और आध्यात्मिक धरोहर को अक्षुण्ण बनाए रखा।

बाबूजी (Kalyan Singh) की सरकार ने न केवल प्रदेश की सांस्कृतिक और आध्यात्मिक धरोहर को संरक्षित किया, बल्कि उस समय जब प्रदेश एक संक्रमण के दौर से गुजर रहा था तब प्रदेश को संभाला। पूववर्ती सरकार की नीतियों के कारण प्रदेश में जगह-जगह दंगे हो रहे थे, आतंकवाद की सुगबुगाहट हो रही थी। इन परिस्थितियों में बाबूजी ने प्रदेश की बागडोर संभाली थी और सरकार की धमक क्या होती है उसे सुशासन की पुख्ता नींव रखकर साबित कर दिया जो आज प्रदेश के सम्रग विकास की आधारशिला है।

प्रदेश के कल्याण का कारक बनेगा संस्थान

मुख्यमंत्री ने कहा कि अत्याधुनिक स्वास्थ्य सुविधाओं से परिपूर्ण यह संस्थान बाबूजी (Kalyan Singh) के नाम के अनुरूप प्रदेश के कल्याण का कारक बनेगा। वर्तमान में चिकित्सा संस्थान में 734 बिस्तरों की क्षमता है, जिसे बढ़ाकर 1200 बिस्तर किया जा रहा है। ऐसे समय में जब पूरी दुनिया कोरोना संक्रमण से जूझ रही थी तब इस संस्थान में प्रदेशवासियों को बेहतरीन स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध कराने के साथ यहां पर कैंसर के उपचार की सुविधा भी दी जा रही थी।

चिकित्सा संस्थान में कैंसर के बेहतर इलाज के लिए टाटा कैंसर इंस्टीट्यूट से बातचीत चल रही है। जल्द ही उसी की तर्ज पर यहां पर कैंसर का इलाज अत्याधुनिक तकनीक से किया जाएगा। यह संथान देश के लोगों को कैंसर रोग से मुक्ति देकर उनके जीवन को कल्याण के पथ पर ले जाएगा।

महापुरुषों के नाम पर मेडिकल कॉलेज

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि आज उत्तर प्रदेश ‘एक जिला एक मेडिकल कॉलेज’ के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए समर्पित रूप से काम कर रहा है और सभी मेडिकल कॉलेजों का नाम उन महापुरुषों के नाम पर रखा जाएगा जिन्होंने राज्य के विकास में योगदान दिया और इतिहास रचा। सीएम ने कहा कि किसी व्यक्ति की योग्यता की कसौटी का मानक उसका भाषण या उसके द्वारा प्रचार प्रसार नहीं हो सकता है।

मानवता जब संकट के दौर से गुजर रही हो तब ही किसी व्यक्ति की योग्यता और क्षमता का आकलन किया जा सकता है। इस सदी की सबसे बड़ी महामारी ने साबित कर दिया है कि उत्तर प्रदेश में असीम क्षमता है। वह बड़ी से बड़ी चुनौती का सामना कर सकता है। पिछली सरकारों को आड़े हाथ लेते हुए योगी ने यह भी कहा कि राज्य सरकार बाबूज के समग्र ग्रामीण विकास के विजन को साकार करने के लिए काम कर रही है और यही कारण है कि 2017 से पहले जहां ग्रामीण क्षेत्र अंधेरे में डूबे रहते थे, आज एलईडी लाइटों से जगमगा रहे हैं।

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