नई दिल्ली। कांग्रेस में नेतृत्व परिवर्तन के लिए सोनिया गांधी को चिट्ठी मामला थमने का नाम नहीं ले रहा है। इसी बीच बुधवार को लखीमपुर खीरी जिला कांग्रेस कमेटी की बैठक में जितिन प्रसाद सहित अन्य नेताओं के सोनिया गांधी के नेतृत्व क्षमता पर सवाल उठाए जाने की कड़े शब्दों में निंदा की गई है। इसके बाद में उनके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई की मांग करते हुए प्रस्ताव राष्ट्रीय अध्यक्ष सोनिया गांधी को भेज दिया गया।
इसके बाद कांग्रेस के भीतर चल रही अंदरुनी कलह धीरे-धीरे खुलकर सामने आ रही है। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री कपिल सिब्बल ने उत्तर प्रदेश कांग्रेस द्वारा पार्टी के नेता जितिन प्रसाद पर निशाना साधने की आलोचना की है। उन्होंने प्रसाद को निशाना बनाए जाने को दुर्भाग्यपूर्ण बताया है।
Unfortunate that Jitin Prasada is being officially targeted in UP
Congress needs to target the BJP with surgical strikes instead wasting its energy by targeting its own
— Kapil Sibal (@KapilSibal) August 27, 2020
सिब्बल ने ट्वीट किया कि दुर्भाग्यपूर्ण है कि जितिन प्रसाद को कांग्रेस में आधिकारिक तौर पर निशाना बनाया जा रहा है। कांग्रेस को भाजपा पर सर्जिकल स्ट्राइक की बजाय अपनी ही पार्टी के नेता को निशाना बनाने में मेहनत करनी पड़ रही है। बता दें कि जितिन प्रसाद उन 23 नेताओं में से एक हैं, जिन्होंने नेतृत्व परिवर्तन के लिए सोनिया गांधी को चिट्ठी लिखी थी।
बता दें कि बुधवार को लखीमपुर खीरी जिला कांग्रेस कमेटी की जिला कांग्रेस कमेटी कार्यालय पर आयोजित बैठक की अध्यक्षता करते हुए जिलाध्यक्ष प्रह्लाद पटेल ने कहा कि सोनिया गांधी पार्टी की एक सर्वमान्य नेता हैं। वह लोग राहुल गांधी और प्रियंका गांधी में पूरा विश्वास रखते हैं।
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वक्ताओं ने कहा कि कोरोना की आपात स्थिति और जब सोनिया गांधी अस्वस्थ थीं, राजस्थान और मध्यप्रदेश की सरकारों पर भी भाजपा हमला कर रही थी। ऐसे में जितिन प्रसाद सहित वरिष्ठ नेताओं ने हस्ताक्षर कर सोनिया गांधी की कार्यक्षमता पर उंगली उठाई है। हस्ताक्षर करना यह दर्शाता है कि इन लोगों की सोनिया गांधी और कांग्रेस में कोई आस्था नहीं है। जो काम भाजपा कर रही है वही काम इन लोगों ने किया है।
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निंदा प्रस्ताव में यह भी कहा गया है। जितिन प्रसाद का पारिवारिक इतिहास गांधी परिवार के खिलाफ रहा है। इनके पिता ने सोनिया गांधी के खिलाफ चुनाव लड़कर इसका सुबूत दिया था। इसके बाद भी सोनिया गांधी ने उन्हें लोकसभा का टिकट देकर सांसद और मंत्री बनाया है। जितिन प्रसाद का यह कृत्य अनुशासनहीनता है। जिला कांग्रेस कमेटी इसकी कड़े शब्दों में निंदा करती है और उनके खिलाफ भी अनुशासनात्मक कार्रवाई की मांग करती है।