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कोरोना मरीजों को अब मिलेगी वीआईपी सुविधा, 2000 रुपये करना होगा भुगतान

कोरोना मरीजों को अब मिलेगी वीआईपी सुविधा

कोरोना मरीजों को अब मिलेगी वीआईपी सुविधा

लखनऊ। अब कोरोना संक्रमित ऐसे मरीज को चिकित्सीय सुविधाओं से इतर वीआईपी सेवा चाहते हैं, उनके लिये ‘टेलर मेड’ व्यवस्था लागू की जायेगी। इसके तहत जिला प्रशासन द्वारा होटल का अधिग्रहण कर एसेम्टोमेटिक मरीजों को वहां रखा जायेगा, जहां पर मरीजों को सरकारी चिकित्सा सुविधा दी जायेगी।

अपर मुख्य सचिव स्वास्थ्य अमित मोहन प्रसाद ने शुक्रवार को बताया कि ऐसे लोगों के लिए जो लोग चिकित्सा के दौरान चिकित्सीय सुविधाओं के अतिरिक्त अन्य सेवाओं को बेहतर पाना चाहते है, उनके लिए स्वास्थ्य विभाग गाजियाबाद में एक नयी व्यवस्था दी गयी है।

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प्रसाद ने बताया कि यह सुविधा आगे अन्य जिलों में भी लागू की जायेगी। इसके तहत जिला प्रशासन द्वारा होटल का अधिग्रहण कर एसेम्टोमेटिक मरीजों को वहां रखा जायेगा, जहां पर मरीजों को सरकारी चिकित्सा सुविधा दी जायेगी। जिसके लिए डबल आकुपेन्सी के लिये 2000 रुपए प्रतिदिन का देय होगा। उन्होंने कहा कि को-मोर्बिडीटी, गर्भवती महिलाओं और छोटे बच्चों को इस व्यवस्था की अनुमति नहीं दी गयी है।

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अपर मुख्य सचिव ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग द्वारा मंडलवार कराये गये विशेष अभियान में प्रदेश में लगभग 1.75 लाख लोगों में बुखार, खासी, जुकाम एवं सांस लेने में तकलीफ आदि लक्षण मिले है। उसमें से 40 हजार लोगों के सैंपल लेकर जांच की जा रही है। प्रदेश में डोर-टू-डोर सर्विलांस के विशेष अभियान का काम 15 जुलाई को खत्म हो गया। इस अभियान के तहत 02 जुलाई से 12 जुलाई तक मेरठ मंडल के सभी जिलों में सर्विलांस का कार्य किया गया। 05 जुलाई से 15 जुलाई तक बचे हुए 17 मंडलों में सर्विलांस का कार्य किया गया है।

प्रसाद ने बताया कि प्रदेश में किसी को होम आइसोलेशन की अनुमति नहीं दी गयी है। ऐसा इसलिए किया गया है क्योंकि एसेम्टोमेटिक लोगों के घर में आइसोलेट होने से घर के अन्य सदस्यों तथा आइसोलेट व्यक्ति के इधर-उधर आने-जाने से अन्य लोगों में भी संक्रमण का खतरा हो सकता है।

उन्होंने बताया कि निजी अस्पतालों को भी कोविड हास्पिटल के रूप में काम करने की अनुमति प्रदेश सरकार पहले ही दे चुकी है। कोविड हास्पिटल के रूप में काम कर रहे निजी अस्पतालों द्वारा लिये जाने वाले शुल्क की दर भी पहले से ही तय की जा चुकी है। मौजूदा समय में प्रदेश में कई प्राइवेट हॉस्पिटल कोविड अस्पताल के तौर पर काम कर रहे हैं। उन्होंने बताया कि प्रदेश में एल-1, एल-2, एल-3 चिकित्सालयों में 1.5 लाख बेड उपलब्ध है।

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