मदरसे की आड़ में दावत देकर अवैध रूप से धर्मांतरण कराने और इसके लिए विदेश से फंडिंग लेने के मुख्य आरोपी मौलाना कलीम सिद्दीकी को अदालत ने 10 दिन की रिमांड पर एटीएस को सौंप दिया है। एटीएस के विशेष न्यायाधीश योगेंद्र राम गुप्ता के आदेश के अनुसार रिमांर्ड 24 सितंबर सुबह 10 बजे से शुरू होगी।
आईजी एटीएस जीके गोस्वामी ने बताया कि कलीम से कई सारी जानकारी इकट्ठा की जानी है। सूत्रों की मानें तो एटीएस ने सवालों की लंबी फेहरिस्त तैयार की है। इसमें पैसों के लेनदेन के अलावा उन मदरसों के बारे में भी जानकारी जुटाई जाएगी, जिसको कलीम ने पैसे दिए हैं। विदेशों से अवैध तरीके से खाते में पैसे आने के चलते कलीम के खिलाफ फेरा और फेमा के तहत भी मुकदमा चलेगा।
सूत्रों ने बताया कि एटीएस मौलाना के करीब आधा दर्जन से अधिक करीबियों पर भी निगाह रख रही है जो कलीम की गुनाहों में बराबर के भागीदार थे। वहीं, पश्चिमी यूपी से कई लोगों को हिरासत में भी लिया गया था, जिन्हें पूछताछ के बाद छोड़ दिया गया है।
कलीम मामले में छह अलग-अलग टीमें काम कर रही हैं। इसमें कलीम से जुड़े लोगों के खातों में आए धन के स्रोतों के साथ साथ फंडिंग के नाम पर विदेश से आए पैसों को कहां खर्च किया गया, इसकी भी जानकारी जुटाई जा रही है। पश्चिमी यूपी के अलावा एटीएस की एक टीम दिल्ली में कलीम के ठिकानों के बारे में जानकारी इकट्ठा कर रही है।
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कलीम को रिमांड पर लेने के बाद एटीएस उसे लेकर मुजफ्फरनगर भी जा सकती है। कलीम मुजफ्फरनगर में एक बड़े मदरसे का संचालन करता है। इस मदरसे से कितने और मदरसे जुड़े हुए हैं, कौन-कौन लोग इस धंधे में सीधे तौर पर शामिल हैं, इसका पता लगाया जा रहा है।