हर महीने अमावस्या तिथि आती है। फरवरी में पड़ने वाली अमावस्या को फाल्गुन अमावस्या (Falgun Amavasya) के नाम से जाना जाएगा। हिन्दू धर्म में फाल्गुन अमावस्या का खास महत्व माना जाता है। फाल्गुन अमावस्या के दिन मां लक्ष्मी की पूजा करने का विधान है। इस दिन चंद्र देव की भी पूजा की जाती है। साल 2025 में महाशिवरात्रि के अगले दिन फाल्गुन अमावस्या (Falgun Amavasya) पड़ रही है। आइए जानते हैं फाल्गुन अमावस्या की डेट, मुहूर्त व पूजा-विधि-
जानें मुहूर्त व पूजा-विधि
हिन्दू पंचांग के अनुसर, फाल्गुन महीने के कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि फरवरी 27, 2025 को 08:54 ए एम पर प्रारम्भ होगी। तिथि का समापन फरवरी 28 को 06:14 ए एम पर होगा। दृक पंचांग के अनुसार, फरवरी 27, 2025 को फाल्गुन अमावस्या v(Falgun Amavasya) मनाई जाएगी। इस दिन इन शुभ मुहूर्त में स्नान-दान किया जा सकता है-
ब्रह्म मुहूर्त 05:08 से 05:58
अभिजित मुहूर्त 12:11 से 12:57
विजय मुहूर्त 14:29 से 15:15
गोधूलि मुहूर्त 18:17 से 18:42
पूजा-विधि
1- स्नान आदि कर मंदिर की साफ सफाई करें
2- हनुमान जी का जलाभिषेक करें
3- शिव जी का पंचामृत सहित गंगाजल से अभिषेक करें
4- अब प्रभु को लाल चंदन और लाल पुष्प अर्पित करें
5- मंदिर में घी का दीपक प्रज्वलित करें
6- श्री हनुमान चालीसा का पाठ करें
7- पूरी श्रद्धा के साथ हनुमान जी की आरती करें
8- हनुमान जी को लड्डू का भोग लगाएं
9- अंत में क्षमा प्रार्थना करें
महत्व: फाल्गुन अमावस्या (Falgun Amavasya) के दिन दान और स्नान करने का विशेष महत्व माना जाता है। फाल्गुन की अमावस्या पर दान करने से पितृ दोष के दुष्प्रभाव को कम किया जा सकता है।