• About us
  • Privacy Policy
  • Disclaimer
  • Terms & Conditions
  • Contact
24 Ghante Latest Hindi News
  • होम
  • राष्ट्रीय
    • उत्तराखंड
    • उत्तर प्रदेश
    • छत्तीसगढ़
    • हरियाणा
    • राजस्थान
  • राजनीति
  • अंतर्राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • मनोरंजन
  • शिक्षा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म
  • होम
  • राष्ट्रीय
    • उत्तराखंड
    • उत्तर प्रदेश
    • छत्तीसगढ़
    • हरियाणा
    • राजस्थान
  • राजनीति
  • अंतर्राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • मनोरंजन
  • शिक्षा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म
No Result
View All Result

ICICI बैंक की पू्र्व CEO चंदा कोचर की बढ़ी मुश्किलें, 64 करोड़ की घूस मामले में दोषी करार

Writer D by Writer D
22/07/2025
in Business, Main Slider
0
chanda kochhar

chanda kochhar

14
SHARES
176
VIEWS
Share on FacebookShare on TwitterShare on Whatsapp

आईसीआईसीआई बैंक की पूर्व सीईओ चंदा कोचर (Chanda Kochhar) को दोषी माना गया है। विडियोकॉन कंपनी को 300 करोड़ रुपये का लोन पास करने के लिए उन पर 64 करोड़ रुपये का घूस लेने का आरोप लगा था। जिसमें उन्हें दोषी माना गया है।

ICICI बैंक की पूर्व CEO चंदा कोचर (Chanda Kochhar) को एक अपीलेट ट्रिब्यूनल ने 64 करोड़ रुपये की रिश्वत लेने का दोषी पाया है। ये रिश्वत Videocon ग्रुप को 300 करोड़ का लोन देने के बदले ली गई थी। टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के मुताबिक, 3 जुलाई को दिए गए आदेश में ट्रिब्यूनल ने कहा कि ये पैसा चंदा के पति दीपक कोचर के जरिए, Videocon से जुड़ी एक कंपनी के माध्यम से दिया गया। इसे ‘quid pro quo’ (कुछ के बदले कुछ) का साफ मामला बताया गया।

ED ने दावा किया कि चंदा कोचर (Chanda Kochhar) ने ICICI बैंक की आंतरिक नीतियों का उल्लंघन करते हुए ये लोन पास किया। ट्रिब्यूनल ने ED के दावे को सही ठहराया और कहा कि चंदा ने अपने पति के Videocon के साथ बिजनेस लिंक को छुपाया, जो बैंक के कॉन्फ्लिक्ट ऑफ इंटरेस्ट नियमों के खिलाफ था।

पैसे का खेल

ट्रिब्यूनल के मुताबिक, ICICI बैंक ने जैसे ही 300 करोड़ का लोन Videocon को दिया, अगले ही दिन Videocon की कंपनी SEPL से 64 करोड़ रुपये NRPL को ट्रांसफर किए गए। कागजों पर NRPL का मालिक Videocon के चेयरमैन वेणुगोपाल धूत को दिखाया गया, लेकिन असल में इसे दीपक कोचर कंट्रोल करते थे, जो इसके मैनेजिंग डायरेक्टर भी थे। ट्रिब्यूनल ने इसे रिश्वत का सीधा सबूत माना।

ट्रिब्यूनल ने 2020 में एक अथॉरिटी के उस फैसले को भी गलत ठहराया, जिसमें चंदा और उनके साथियों की 78 करोड़ की संपत्ति को रिलीज कर दिया गया था। ट्रिब्यूनल ने कहा कि उस अथॉरिटी ने जरूरी सबूतों को नजरअंदाज किया और गलत निष्कर्ष निकाला। ED ने मजबूत सबूतों और घटनाओं के साफ टाइमलाइन के आधार पर संपत्ति अटैच की थी। ट्रिब्यूनल ने कहा कि लोन पास करना, पैसे ट्रांसफर करना और दीपक कोचर की कंपनी में फंड भेजना ये सब चंदा कोचर द्वारा अपनी पावर का गलत इस्तेमाल और नैतिकता के उल्लंघन को दिखाता है।

Tags: Chanda kochhar
Previous Post

चंदन मर्डर केस के आरोपियों का एनकाउंटर, दो बदमाशों को लगी गोली

Next Post

इस्तीफे पर पुनर्विचार नहीं करेंगे जगदीप धनखड़, न देंगे फेयरवेल स्पीच

Writer D

Writer D

Related Posts

CM Yogi pays tribute to martyred policemen on Police Memorial Day
उत्तर प्रदेश

अदम्य साहस और बलिदान के प्रतीक बने शहीद निरीक्षक सुनील, मुख्य आरक्षी दुर्गेश और आरक्षी सौरभ

21/10/2025
CM Yogi
Main Slider

पुलिसकर्मियों का बलिदान प्रदेश और देश की अमूल्य पूंजी: मुख्यमंत्री

21/10/2025
Premananda Maharaj
Main Slider

प्रेमानंद महाराज ने अपने शिष्यों संग मनाई दिवाली, आतिशबाजी देख हुए खुश

21/10/2025
Share Market
Business

शेयर बाजार में जबर्दस्त तेजी, सेंसेक्स बना रॉकेट; निफ्टी ने भी किया धमाका

21/10/2025
Mohammad Kalamuddin
Main Slider

बिहार चुनाव: ओवैसी की पार्टी के प्रत्याशी की नामांकन के बाद गिरफ्तारी से गरमाई सियासत

21/10/2025
Next Post
Jagdeep Dhankhar

इस्तीफे पर पुनर्विचार नहीं करेंगे जगदीप धनखड़, न देंगे फेयरवेल स्पीच

यह भी पढ़ें

तेजप्रताप यादव

जीजा तेजप्रताप ने दी तेजस्वी को जन्मदिन की बधाई, कहा- मुख्यमंत्री के रूप में ताजपोशी करेंगे

09/11/2020
Kolkata Knight Riders Team

कोलकाता नाइट राइडर्स की प्लेऑफ में जाने की उम्मीदें कायम

02/11/2020
PM Modi

“मेरी मां जितनी सरल हैं, उतनी ही असाधारण हैं”: पीएम मोदी का अपनी मां के लिए भावनात्मक ब्लॉग

18/06/2022
Facebook Twitter Youtube

© 2022 24घंटेऑनलाइन

  • होम
  • राष्ट्रीय
    • उत्तराखंड
    • उत्तर प्रदेश
    • छत्तीसगढ़
    • हरियाणा
    • राजस्थान
  • राजनीति
  • अंतर्राष्ट्रीय
  • क्राइम
  • मनोरंजन
  • शिक्षा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म

© 2022 24घंटेऑनलाइन

Go to mobile version