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काली कमाई का ‘कुबेर’ निकला गायत्री प्रजापति, ED अफसरों के उड़े होश

गायत्री प्रजापति Gayatri Prajapati

गायत्री प्रजापति

दिल्ली/नोएडा। केन्द्रीय जांच एजेंसी प्रवर्तन निदेशालय (ED) की टीम ने अवैध खनन से जुड़े दर्ज मामले में यूपी में बुधवार की देर शाम तक कई लोकेशन पर छापेमारी की है। छापेमारी के दौरान कई महत्वपूर्ण दस्तावेज जांच एजेंसी के जांचकर्ताओं को मिले हैं। जब उन तमाम दस्तावेजों को गुरूवार को जब विस्तार से खंगाला गया तो कुछ समय के लिए अफसरों के भी होश उड़ गए। बता दें कि ये छापेमारी यूपी के पूर्व खनन मंत्री गायत्री प्रसाद प्रजापति के ठिकानों पर हुई।

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छापेमारी के दौरान जांच एजेंसी ईडी की टीम ने गायत्री प्रजापति और उसके परिजनों के नाम करीब 44 से ज्यादा प्रॉपर्टी/जमीन से जुड़े दस्तावेज बरामद किए हैं। जांच एजेंसी के अधिकारियों के मुताबिक इन संपत्तियों को गलत तरीके से अर्जित किया गया है।लिहाजा इस मामले में आगे जांच एजेंसी विस्तार से जांच करने में जुट गई है।

पूर्व खनन मंत्री की जानें कहां-कहां मिलीं संपत्तियां और बेनामी प्रॉपर्टी?

ईडी की टीम 30 दिसंबर की देर रात तक जब छापेमारी कर रही थी, उसी दौरान गायत्री प्रसाद प्रजापति और उसके चार्टेड एकाउंटेंट (CA) के आवास से करीब 100 से ज्यादा प्रॉपर्टी-जमीन की रजिस्ट्री के दस्तावेज बरामद हुए। बरामद रजिस्ट्री के मुताबिक लखनऊ, कानपुर, सीतापुर, अमेठी में कई प्रॉपर्टी को गलत तरीके से अर्जित करके उसका रजिस्ट्रेशन करवाया गया था। यानी खनन मामलों के मंत्री रहने के दौरान भ्रष्ट्राचार के माध्यम से जो अवैध पैसे कमाए गए, उसी पैसों से उन प्रॉपर्टी को खरीदा गया और उसका रजिस्ट्रेशन करवाया गया था। लिहाजा इस मामले में ईडी की टीम मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट (PMLA) के तहत मामला दर्ज करके इस मामले की तफ्तीश कर रही।
ईडी के मुताबिक मुंबई में भी 4 विला प्रॉपर्टी से संबंधित दस्तावेज भी बरामद किया गया है। इसकी जिसकी अनुमानित कीमत करीब ढाई करोड़ प्रति विला है। हालांकि इस प्रॉपर्टी को गायत्री प्रसाद प्रजापति के परिजनों के नाम से खरीदा गया था।

ईडी की तफ्तीश के दौरान इन प्रॉपर्टी से संबंधित मिले हैं सबूत और दस्तावेज

ये है पूरा मामला

बता दें गायत्री प्रसाद प्रजापति इस वक्त जेल में है। साल 2017 में ही उनको एक महिला के साथ दुष्कर्म करने के आरोप में उनको यूपी पुलिस ने गिरफ्तार किया था। अवैध खनन मामले में सरकार को चूना लगाने और भ्रष्टाचार के आरोप में केंद्रीय जांच एजेंसी सीबीआई ने सबसे पहले मामला दर्ज किया था। उसके बाद कई स्थानों पर छापेमारी की थी। उसी मामले को आधार बनाते हुए ईडी की यूपी ब्रांच की टीम ने इस केस को टेकओवर किया और लगातार इस आरोपी के खिलाफ तफ़्तीश कर रही है। उसके बाद कार्रवाई को अंजाम दे रही है।

पूर्व मैनेजर से मिली डिटेल का मिला फायदा

हालांकि महिला के साथ दुष्कर्म, भ्रष्ट्राचार के मार्फत करोड़ों रुपये अर्जित करने के साथ गायत्री प्रजापति के खिलाफ उनके पूर्व मैनेजर बृज भवन चौबे द्वारा लखनऊ में दर्ज करवाये गए एक और मामला भी है। जिसके तहत उन्होंने गायत्री प्रजापति के खिलाफ जान से मारने की धमकी सहित जबरन बृज भवन चौबे की कई संपत्ति को हड़पने का भी एक मामला है। बृज भवन चौबे उन मामलों से जुड़ा एक लिखित शिकायत ईडी को सौंपा और गायत्री प्रजापति से संबंधित तमाम अवैध कारनामों की जानकारियों को भी साझा किया गया था। जिसके बाद विस्तार से ईडी ने अपने स्तर पर उसे खंगालने के बाद अब कार्रवाई को अंजाम दे रही है।

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