इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने भदोही विधायक विजय मिश्र के अल्लापुर स्थित बहुमंजिला व्यवसायिक भवन के ध्वस्तीकरण के मामले में प्रयागराज विकास प्राधिकरण की याचिका पर चार नवम्बर को सुनवाई करेगी।
न्यायालय ने याचिकाकर्ता इंद्रकली देवी समेत अन्य पक्षकारों को नोटिस जारी कर अपना पक्ष रखने को कहा है और मामले की सुनवाई चार नवंबर को होगी। प्रयागराज विकास प्राधिकरण ने कमिश्नर प्रयागराज मंडल के आदेश को इलाहाबाद उच्च न्यायालय में चुनौती दी है।
न्यायमूर्ति अश्वनी कुमार मिश्र पीडीए की याचिका पर सुनवाई कर रहे हैं।
कमिश्नर प्रयागराज ने इंद्रकली द्वारा ध्वस्तीकरण नोटिस के खिलाफ दाखिल अपील पर सुनवाई करते हुए 28 अक्तूबर को प्रकरण पीडीए के पास वापस भेज दिया था। कमिश्नर न्यायालय ने संबंधित जोनल अधिकारी को याची का पक्ष सुनकर एक सप्ताह में उचित निर्णय लेने का निर्देश दिया था। इस आदेश से नाखुश पीडीए ने आदेश को उच्च न्यायालय में चुनौती दी है। पीडीए का पक्ष वरिष्ठ अधिवक्ता अनूप त्रिवेदी और अरुण कुमार मिश्र ने रखा। पीडीए का कहना है कि कमिश्नर द्वारा अपील निर्णीत करने में कई स्तर पर त्रुटियां की गई हैं।
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कमिश्नर ने अपने आदेश में यह कहते हुए मामला पीडीए को वापस भेज दिया था कि याची इंद्रकली आदि को ध्वस्तीकरण नोटिस का तामीला संबंधित अधिनियम की धारा 43 के प्रावधानों के तहत नहीं कराया गया और न ही धारा 44 का पालन किया गया। पीडीए ने 12 दिसंबर 2007 को ध्वस्तीकरण नोटिस नोटिस भेजा था। जिस पर 13 साल के बाद अमल शुरु किया गया।
गौरतलब है कि विजय मिश्र के अल्लापुर स्थित विवादित भवन के ध्वस्तीकरण की कार्यवाही शुरू करने को उच्च न्यायालय में चुनौती दी गई थी। याची को नियमानुसार पीडीए के नोटिस के खिलाफ कमिश्नर के समक्ष अपील और स्थगनआदेश अर्जी दाखिल करने का निर्देश दिया था। इसके अनुपालन में कमिश्नर के समक्ष अपील दाखिल की गई थी। जिस पर सुनवाई के बाद कमिश्नर ने प्रकरण पुनः विचारण के लिए पीडीए को वापस भेज दिया। कमिश्नर के इस आदेश को उच्च न्यायालयमें चुनौती दी गई है। मामले की सुनवाई अब चार नवंबर को होगी।