भारतीय वायुसेना (IAF) के साथ साझेदारी में रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO) ने ओडिशा तट से दूर एक मंच से स्वदेशी रूप से विकसित लॉन्ग रेंज बम (LRB) का सफलतापूर्वक परीक्षण किया है। स्वदेशी रूप से बनाए गए निर्देशित बम ने सीमा को कवर किया और लक्ष्य को सटीकता के साथ हिट किया।
रक्षा मंत्रालय ने एक बयान में कहा, ”वायुसेना के फाइटर एयरक्राफ्ट से रिलीज होने के बाद लंबी रेंज के बम ने टारगेट पर सटीक लैंड किया।” बम को ट्रैक करने के लिए ईओटीएस (इलेक्ट्रो-ऑप्टिकल ट्रैकिंग सिस्टम), टेलीमेट्री और रडार सहित विभिन्न रेंज सेंसर का इस्तेमाल किया गया था। रेंज सेंसर इंटीग्रेटेड टेस्ट रेंज (ITR) में लगाए गए थे।
रक्षा अनुसंधान एवं विकास विभाग के सचिव और डीआरडीओ के अध्यक्ष डॉ जी सतीश रेड्डी ने कहा कि मिशन के सभी उद्देश्यों को सफलतापूर्वक पूरा कर लिया गया है। उन्होंने कहा, “एलआरबी के सफल परीक्षण ने सिस्टम के इस वर्ग के स्वदेशी विकास में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर हासिल किया है।”
शिकारी ने किया आदमकद ‘राक्षस’ से हुई मुठभेड़ का दावा, सुनाई खौफनाक स्टोरी
लॉन्ग रेंज बम को हैदराबाद में डीआरडीओ प्रयोगशाला, रिसर्च सेंटर इमरत (आरसीआई) द्वारा अन्य डीआरडीओ प्रयोगशालाओं के सहयोग से डिजाइन और बनाया गया है। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने DRDO, IAF और सफल उड़ान परीक्षणों से जुड़ीं अन्य टीमों को बधाई दी। उन्होंने कहा कि लंबी दूरी का निर्देशित बम भारतीय सशस्त्र बलों के लिए ताकतवर साबित होगा।