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भारतीय संविधान में महिलाओं को बराबरी का अधिकार दिया गया है : आनंदीबेन

Anandiben Patel

Anandiben Patel

उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनन्दीबेन पटेल ने कहा है कि महिलाएं अपनी शक्ति पहचानें तथा सकारात्म दृष्टिकोण अपनाकर बच्चों को संस्कारवान एवं गुणवत्तापरक शिक्षा प्रदान करें।

श्रीमती पटेल ने आज अपने एक दिवसीय मुरादाबाद जिले के भ्रमण कार्यक्रम के तहत यहां आईएफटीएम यूनिवर्सिटी में आयोजित मिशन शक्ति कार्यक्रम के तहत महिलाओं से संवाद स्थापित किया तथा कोविड संक्रमण के नियंत्रण में उल्लेखनीय योगदान करने वाली महिलाओं को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया।

इसके बाद श्रीमती पटले मुरादाबाद सर्किट हाउस में ओडीओपी टूल किट एवं ऋण वितरण समारोह तथा गर्भवती महिलाओं की गोद भराई कार्यक्रम में सम्मिलित हुई तथा एक जनपद एक उत्पाद योजना एवं स्वरोजगारपरक योजना तहत लाभार्थियों को टूल किट एवं स्वीकृति पत्र वितरित किये तथा क्षयरोग ग्रसित बच्चों को गोद लेने वाली स्वयं सेवी संस्थाओं की सराहना एवं उत्साहवर्धन किया। राज्यपाल महोदया ने सीएल गुप्ता आई इंस्टीट्यूट रामगंगा विहार मुरादाबाद में “पोषण वाटिका“ का उद्घाटन किया तथा “प्रोजेक्ट स्नेह“ के तहत 500 कुपोषित बालकों के कल्याणार्थ विशेष कार्यक्रम को शुभारम्भ भी किया। राज्यपाल ने सर्किट हाउस सभागार में प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री द्वारा विंध्य क्षेत्र की पेयजल परियोजनाओं का वर्चुअल माध्यम से शुभारम्भ कार्यक्रम में प्रतिभाग भी किया।

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श्रीमती आनन्दीबेन पटेल ने अपने भ्रमण के दौरान सर्वप्रथम आईएफटीएम यूनिवर्सिटी मुरादाबाद में आयोजित मिशन शक्ति के तहत महिलाओं से संवाद स्थापित करते हुए कहा कि महिलाएं अपनी शक्ति पहचानें तथा सकारात्म दृष्टिकोण अपनाकर बच्चों को संस्कारवान एवं गुणवत्तापरक शिक्षा प्रदान करें। उन्होंने महिला साक्षरता तथा नारी सशक्तिकरण पर बल देते हुए कहा कि लडकियों और लडकों के बीच कोई भेदभाव नही करना चाहिए। अगर समाज की सोच को बदल दे तो लडकियां आगे बढती रहेंगी।

उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा संचालित मिशन शक्ति अभियान का उद्देश्य यही है कि नारी को सुरक्षा सम्मान एवं स्वावलम्बल प्रदान किया जाये। समाज में महिला सुरक्षा का बिन्दु महत्वपूर्ण है। बच्चों को ठीक वातावरण मिलें तथा ठीक से पढ़ाया जाये। लड़के-लडकी को समान रुप से देखने की आवश्यकता होगी। महिलाएं स्वावलंबी बनेंगी और किसी से नही डरेंगी तथा महिलाएं समाज की मुख्य धारा में आकर कार्य करेंगी। उन्होंने कहा कि सबके लिए शिक्षा का बहुत महत्व है तथा शिक्षा का दीप ही इस अंधेरे को मिटा सकता है। राज्यपाल ने महिलाओं का आह्वान किया कि आज ही हमें शिक्षित होने का संकल्प लेना है तथा सारी समस्याओं का समाधान शिक्षा से ही संभव है।

श्रीमती पटेल ने कहा कि हमारे भारतीय संविधान में महिलाओं को बराबरी का अधिकार दिया गया है, लेकिन चिन्ता की बात यह है कि समाज में कुछ विकृत मानसिकता के लोग इसमें बाधा उत्पन्न करते हैं तथा हमें यह प्रण लेना है कि महिला सशक्तिकरण देश की प्रगति के लिए आवश्यक है। उन्होंने प्रधानमंत्री के आत्मनिर्भर भारत बनाने के अभियान के अभियान का उल्लेख करते हुए कहा कि हमें आत्मनिर्भर प्रदेश, तहसील, जिला एवं परिवार भी बनाना है, जिस के लिए ग्रामीण और पिछडे क्षेत्रों की महिलाओं की ओर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है।

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उन्होंने आईएफटीएफ विश्वविद्यालय में कोरोना काल में उत्कृष्ठ सेवा प्रदान करने वाले को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया । इस अवसर पर उन्होंने डा0 सीमा रानी सदस्य उत्तर प्रदेश अधीनस्थ सेवा चयन आयोग, प्रीति जायसवाल अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व, प्रेरणा सिंह उप जिलाधिकारी सदर, मंजू कोठीवाल, डा0 सुषमा राठी रेलवे हास्पिटल, डा0 अर्चना यादव सिविल हास्पिटल, डा0 दिव्या गोयल, डा0 सैफाली सिंह, रितु नारंग, तथा श्रीमती गरिमा सिंह समाज सेविका को कोरोना संक्रमित व्यक्तियों का इलाज एवं उचित देखभाल करने पर स्मृति चिन्ह् एवं प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया।

श्रीमती पटेल ने सर्किट हाउस में आयोजित कार्यक्रम में आयोजित ओडीओपी प्रर्दशनी, टूलकिट एवं ऋण वितरण समारोह तथा राष्ट्रीय क्षयरोग उन्मूलन कार्यक्रम में अपने सम्बोधन में कहा कि मुरादाबाद हस्तकला, पीतल के बर्तनों एवं अन्य उत्पादों के लिए विश्व प्रसिद्ध है तथा यहां पर धातु उत्पादों का उत्पादन करने वाली निर्यातउन्मुखी इकाईयां भी स्थापित हैं तथा प्रदेश सरकार द्वारा एक जिला एक उत्पादन योजना के तहत यहां के पीतल उद्योग को और आगे बढ़ाने का कार्य किया जा रहा है, चूंकि पारम्परिक शिल्प कला आर्थिक विकास को गति प्रदान करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।

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उन्होंने महिला हस्तशिल्पी प्रदर्शनी का अवलोकन करते हुए कहा कि दस्तकारी में जो कलाकारी दिखाई गयी है वह अद्भुत एवं अतुल्य है, कलाकारी देखने से ही मूल्य का पता चलता है। उन्होंने इस कार्य में निपुण दस्तकारों को सम्बोधित करते हुए कहा कि हमारी धरोहर मिटनी नही चाहिए बल्कि इसे निरन्तर आगे बढ़ाते रहना चाहिए। उन्होंने कहा कि केन्द एवं राज्य सरकार भी महिला दस्तकारों को प्रोत्साहन देने के लिए प्रयासरत है।

राज्यपाल ने एक जिला एक उत्पाद प्रशिक्षण के जिन महिला लाभार्थियों को टूलकिट एवं स्वीकृति पत्र वितरित किया। इसके अतिरिक्त रोजगारपरक योजनाओं जैसे मुख्यमंत्री युवा स्वरोजगार योजना एवं ओडीओपी वित्त पोषण योजना की जिन महिला लाभार्थियों को स्वीकृति पत्र वितरित किए गये। इस अवसर पर विभिन्न हस्तशिल्पियों द्वारा स्टाल लगाये गये जिनमें धातु शिल्प एम्ब्रायडरी, टोकरी बुनकर, एवं हेल्पर आदि उत्पाद सम्मिलित हैं, जिनसे संबंधित हस्तशिल्पियों को भी राज्यपाल महोदया ने प्रोत्साहित किया।

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