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2 साल बाद रिहा होंगे पत्रकार सिद्दीकी कप्पन, इलाहाबाद HC से मिली जमानत

Siddiqui Kappan

Siddiqui Kappan

लखनऊ। यूपी के हाथरस कांड के बाद जनता को भड़काने समेत कई आरोपों में गिरफ्तार पत्रकार सिद्दीकी कप्पन (Siddiqui Kappan) को बड़ी राहत मिली है। ईडी मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट ने सिद्दीकी कप्पन को जमानत दे दी है, जिसके बाद वे जेल से रिहा होंगे। सिद्दीकी कप्पन 2 साल बाद जेल से बाहर आएंगे।

इससे पहले 9 सितंबर को सुप्रीम कोर्ट ने केरल के पत्रकार सिद्दीकी कप्पन (Siddiqui Kappan) को जमानत दे दी थी। कप्पन को उत्तर प्रदेश पुलिस ने अक्टूबर 2020 में उस वक्त गिरफ्तार किया था, जब वे हाथरस जा रहे थे। हाथरस में दलित लड़की के साथ गैंगरेप कर हत्या कर दी गई थी। सुप्रीम कोर्ट ने कप्पन को सशर्त जमानत दी थी। कप्पन को उत्तर प्रदेश की जेल से छूटने के बाद अगले 6 हफ्तों तक दिल्ली में रहना होगा, इसके बाद वे केरल जा सकेंगे। इसके अलावा हर सोमवार को उन्हें पुलिस स्टेशन में हाजिरी देना होगा, साथ ही अपना पासपोर्ट भी सरेंडर करना होगा।

कप्पन पर गैर कानूनी गतिविधि निरोधक अधिनियम, आईटी अधिनियम, भारतीय दंड विधान की विभिन्न धाराओं में केस दर्ज किया गया था। उस वक्त कप्पन कथित रूप से हाथरस में लड़की के साथ गैंगरेप और मर्डर की घटना को कवर करने जा रहे थे। सुप्रीम कोर्ट से राहत मिलने के बाद कप्पन को मनी लॉन्ड्रिंग के तहत उनके खिलाफ शुरू की गई कार्यवाही में जमानत के लिए आवेदन करने की भी छूट मिल गई थी।

क्या है मामला?

कप्पन समेत चार लोगों को यूपी पुलिस ने अक्टूबर 2020 में मथुरा से गिरफ्तार किया गया था। पुलिस का कहना था कि कप्पन कट्टरपंथी समूह पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) से जुड़े हैं। वे हाथरस में दंगे फैलाने की साजिश रचने के लिए जा रहे थे। वहीं, कप्पन का कहना था कि हाथरस में युवती के साथ हुए गैंगरेप-मर्डर के बाद घटनास्थल पर मामले को कवर करने जा रहे थे। कप्पन आईपीसी की धारा 153ए (समूहों के बीच दुश्मनी को बढ़ावा देना), 295ए (धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाना), 124ए (देशद्रोह), 120बी (साजिश), यूएपीए के तहत जेल में बंद थे।

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