हिंदू धर्म में अमावस्या तिथि बहुत महत्वपूर्ण मानी जाती है। अमावस्या तिथि पूर्वजों को समर्पित मानी जाती है। साल में कुल 12 अमावस्याएं पड़ती हैं। सभी अमावस्या किसी न किसी कार्य के लिए महत्वपूर्ण मानी जाती है, लेकिन ज्योतिषीय दृष्टि से ज्येष्ठ अमावस्या (Jyeshtha Amavasya ) को बहुत खास माना जाता है। दरअसल, इस तिथि पर शनि जयंती और वट सावित्री का व्रत भी रखा जाता है। आइए जानते हैं कि ज्येष्ठ अमावस्या (Jyeshtha Amavasya ) की सही तिथि और शुभ मुहूर्त क्या है।
हिंदू कैलेंडर के अनुसार, ज्येष्ठ अमावस्या 5 जून 2024 को रात 7:54 बजे शुरू होगी। यह तिथि 6 जून 2024 को शाम 6:07 बजे समाप्त होगी। पंचांग के अनुसार, ज्येष्ठ अमावस्या (Jyeshtha Amavasya ) 6 जून 2024 को मनाई जाएगी।
ज्येष्ठ अमावस्या (Jyeshtha Amavasya ) पूजा विधि
– अमावस्या (Jyeshtha Amavasya ) के दिन ब्रह्म मुहूर्त में उठना चाहिए और पवित्र स्नान करना चाहिए।
– इस दिन संभव हो, तो गंगा नदी में स्नान करना चाहिए।
– इसके बाद भगवान सूर्य को जल अर्पित करें।
– इस दिन पितरों का तर्पण करें।
– इस तिथि पर लोग अपने पूर्वजों की आत्मा की शांति के लिए व्रत भी रखते हैं।
– इस दिन मां गंगा की पूजा विधि-विधान से करें।
– इस तिथि पर दान करने से पुण्य फलों की प्राप्ति होती है।
– अमावस्या तिथि पर ध्यान रखें ये बातें
– इस दिन तामसिक चीजों से दूर रहना चाहिए।
– इस तिथि पर पवित्रता का ध्यान रखना चाहिए।
– इस दिन कई तरह के धार्मिक अनुष्ठान किए जाते हैं, इसलिए यह विशेष मानी जाती है।
– इस तिथि पर भगवान शिव की पूजा भी लाभकारी मानी जाती है।