पांच सितंबर को भारत में शिक्षक दिवस मनाया जाता है। वैसे यूनेस्को ने साल 1994 में 5 अक्टूबर को टीचर्स डे यानी शिक्षक दिवस मनाने की घोषणा की थी। एक ऐसा दिन, जब शिक्षा के जरिये नई पीढ़ी को ज्ञान स्थानांतरित करने वालों का सम्मान हो। वहीं भारत में शिक्षक दिवस 5 सितंबर को मनाया जाता है। जानिए इसके पीछे का इतिहास, क्यों इसी तारीख को हर साल भारत में शिक्षक दिवस मनाया जाता है।
रोचक बात यह है कि ‘शिक्षक दिवस’ विश्व के अधिकांश देशों में मनाया जाता है, लेकिन सबने इसके लिए अलग-अलग दिन निर्धारित किए हुए हैं। इसलिए कुछ देशों में ‘शिक्षक दिवस’ वाले दिन अवकाश रहता है, वहीं बाकी देशों में उस दिन रोजमर्रा की तरह ही कामकाजी दिन रहता है।
यूनेस्को ने 5 अक्टूबर को ‘अंतरराष्ट्रीय शिक्षक दिवस’ घोषित किया था। साल 1994 से ही इसे मनाया जा रहा है। शिक्षकों के प्रति सहयोग को बढ़ावा देने और भविष्य की पीढ़ियों की आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए शिक्षकों के महत्व के प्रति जागरुकता लाने के मकसद से इस विशिष्ट दिन की शुरुआत की गई थी। आज विश्व भर के लगभग सौ देशों में यह दिवस मनाया जाता है। इस दिन स्कूल-कॉलेजों आदि में अपने अध्यापकों तथा गुरुओं के सम्मान में अनेक प्रकार के कार्यक्रम आदि आयोजित किए जाते हैं।
यहां भी मनाया जाता है टीचर्स डे
10 दिसंबर, 1945 के दिन चिली के महान कवि गब्रिएला मिस्ट्राल को नोबेल पुरस्कार मिला था। इस दिन को यादगार बनाने के लिए 1974 में 10 दिसंबर को ‘शिक्षक दिवस’ के रूप में मनाए जाने का निर्णय लिया गया, लेकिन 16 अक्टूबर, 1977 को टीचर्स कॉलेज की स्थापना के बाद से वहां 16 अक्टूबर को ‘शिक्षक दिवस’ मनाया जाता है।
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बता दें, हमारे पड़ोसी देश पाकिस्तान के अलावा मालदीव्स, कुवैत, मॉरीशस, कतर, ब्रिटेन, रूस आदि इसी दिन टीचर्स डे मनाते हैं। बता दें कि चीन 10 सितंबर को शिक्षक दिवस मनाता है।
भारत में शिक्षक दिवस
स्वतंत्र भारत के पहले उपराष्ट्रपति और दूसरे राष्ट्रपति सर्वपल्ली राधाकृष्णन का जन्म 5 सितंबर, 1888 को हुआ था, इस कारण सर्वपल्ली राधाकृष्णन की याद में भारत में ‘शिक्षक दिवस ‘ मनाया जाता है।
साउ पोलो में मना पहला शिक्षक दिवस
15 अक्टूबर, 1827 के दिन प्रेडो-I ने ब्राजील में प्राथमिक स्कूलों की स्थापना संबंधी आदेश दिया था। इसी दिन की याद में साउ पोलो के एक छोटे से स्कूल के कुछ शिक्षकों ने 15 अक्टूबर, 1947 को पहली बार शिक्षक दिवस का आयोजन किया था। धीरे-धीरे पूरे देश में शिक्षक दिवस मनाया जाने लगा और 1963 में आधिकारिक रूप में इस दिन को शिक्षक दिवस का दर्ज़ा दे दिया गया।