नई दिल्ली। भारतीय जनता पार्टी (BJP) के वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी (Lalkrishna Advani) और पूर्व केंद्रीय मंत्री मुरली मनोहर जोशी (Murli Manohar Joshi) को अयोध्या में 22 जनवरी 2024 को राम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम में आने का निमंत्रण मिल गया है। आडवाणी और जोशी राम मंदिर आंदोलन के अग्रणी नेताओं में रहे हैं। विश्व हिंदू परिषद के अंतरराष्ट्रीय कार्याध्यक्ष आलोक कुमार ने दोनों दिग्गज नेताओं को मंगलवार को निमंत्रण दिया।
आलोक कुमार ने कहा, राम मंदिर आंदोलन के पुरोधा लाल कृष्ण आडवाणी (Lalkrishna Advani) और डॉ मुरली मनोहर जोशी (Murli Manohar Joshi) को अयोध्या में 22 जनवरी 2024 को राम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम में आने का निमंत्रण दिया। रामजी के आंदोलन के बारे में बात हुई। दोनों वरिष्ठों ने कहा कि वह आने का पूरा प्रयास करेंगे। प्रतिष्ठा समारोह के बाद 24 जनवरी से उत्तर भारत की परंपरा के अनुसार 48 दिनों तक मंडल पूजा होगी। वहीं, 23 जनवरी से आम लोग रामलला के दर्शन कर सकेंगे।
चंपत राय ने क्या कहा था?
इससे पहले खबर आई थी कि स्वास्थ्य और उम्र के कारण दोनों नेताओं को कार्यक्रम का निमंत्रण नहीं भेजा गया। दोनों नेताओं से रामलला के प्राण प्रतिष्ठा समारोह में शामिल नहीं होने का अनुरोध किया गया था। राम मंदिर निर्माण के लिए गठित श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव चंपत राय ने कहा था कि दोनों परिवार के बुजुर्ग हैं और उनकी उम्र को देखते हुए उनसे न आने का अनुरोध किया गया, जिसे दोनों ने स्वीकार कर लिया है।
आमंत्रित लोगों की विस्तृत सूची देते हुए राय ने कहा कि स्वास्थ्य और उम्र संबंधी कारणों से आडवाणी और जोशी संभवत: अभिषेक समारोह में शामिल नहीं होंगे। आडवाणी अब 96 साल के हैं और जोशी अगले महीने 90 साल के हो जाएंगे।
‘आडवाणी-मुरली मनोहर जोशी कृपया प्राण प्रतिष्ठा में न आएं’, जानें चंपत राय ने ऐसा क्यों कहा
उन्होंने कहा, विभिन्न परंपराओं के 150 साधु-संतों और छह दर्शन परंपराओं के शंकराचार्यों सहित 13 अखाड़े इस समारोह में भाग लेंगे। कार्यक्रम में लगभग चार हजार संतों को आमंत्रित किया गया है। इसके अलावा 2200 अन्य मेहमानों को भी निमंत्रण भेजा गया है।