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रूस के हमलों से ‘कब्रगाह’ बना मारियुपोल, शहर में हर तरफ तबाही का मंजर

कीव। यूक्रेन और रूस की जंग (Ukraine-Russia War) का आज 34वां दिन है । लगातार होने वाले रूसी हमलों से अब यूक्रेन थर्रा उठा है । कई शहर तबाह हो चुके हैं । लेकिन सबसे ज्यादा त्रासदी मारियुपोल (Mariupol) में हुई है । खबरों के मुताबिक, इस शहर में रूसी हमलों में 5 हजार लोग मारे जा चुके हैं । दर्द की दास्तां इतनी गहरी है कि हजारों लोग बेघर हो गए हैं । अस्पताल घायलों से भरे हुए हैं ।

कब कौन सा बम पलभर में जिंदगी खत्म कर देगा, ये डर आज भी यहां के लोगों के सता रहा है । हालात ऐसे हैं कि मृतकों को पार्कों और स्कूलों में दफन किया जा रहा है । रूस ने यहां ऐसी तबाही मचाई है कि 90 फीसदी इमारतें खंडहर में तब्दील हो चुकी हैं । जबकि 40 फीसदी बिल्डिंग ऐसी हैं जो पूरी तरह जमींदोज हो गई हैं ।

फिजाओं में गंध और घरों से उठता धुआं

बता दें कि ये वही मारियुपोल (Mariupol) है जिसमें सबसे पहले रूस ने युद्धविराम की घोषणा की थी । कहा गया था कि जंग में फंसे लोगों को यहां से निकाला जाएगा । उनके लिए एक ह्यूमन कॉरिडोर बनाया जाएगा । सेफ पैसेज उपलब्ध कराया जाएगा ताकि लोग आसानी से यहां से निकल सकें । लेकिन हुआ इसके ठीक विपरीत । क्योंकि इसी शहर में रूसी सैनिकों ने सड़क पर उतरकर लोगों पर अंधाधुंध हमले किए । रूसी विमानों ने इतने एयर स्ट्राइक किए कि फिजाओं में गंध और घरों से धुआं उठता दिखाई देता है ।

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पार्कों और स्कूलों में दफन हो रहे शव

यूक्रेन ने मारियुपोल की तबाही की तुलना सीरिया के अलेप्पो से की है । दावा किया गया है कि मृतकों को कब्रिस्तान तक ले जाना मुश्किल हो रहा है । इसके चलते पार्कों और स्कूलों में शवों को दफन किया जा रहा है । वहीं मारियुपोल में संचार सेवा भी ठप हो गई है । लोग अपने परिजनों से बात नहीं कर पा रहे हैं । किसी भी तरह की जानकारी के लिए लोग सोशल मीडिया पर ही निर्भर हो गए हैं ।

सैन्य ठिकाने ही नहीं, रिहायशी इलाके भी टारगेट किए

जंग की शुरुआत में रूस ने कीव को टारगेट किया । लगातार हमले किए गए । कहा गया कि वह सिर्फ सैन्य ठिकानों को ही अपना निशाना बनाएगा । लेकिन रूस ने जंग में सब जायज वाली कहावत को साबित कर दिया । रूसी सैनिकों ने न सिर्फ सैन्य अड्डों, बल्कि रिहाइशी इलाकों को भी टारगेट किया । कीव के बाद बारी आई खारकीव की, जहां रूस ने अंधाधुंध अटैक किए । यहां कई लोगों की जान हमलों में जान गई, लेकिन सबसे खतरनाक मंजर मारियुपोल का रहा ।

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शहर-दर-शहर घुसते गए रूसी सैनिक

मारियुपोल में रूस ने उस ब्रिज को तबाह कर दिया जो शहर को राजधानी कीव से जोड़ता था । जैसे-जैसे जंग बढ़ती गई रूसी सैनिक शहर-दर-शहर में घुसते गए और तबाही मचाते गए । मारियुपोल के मेयर के प्रवक्ता ने कहा कि हमने अपने 5 हजार लोगों को खो दिया है । एक हंसता खेलता शहर तबाह हो गया है । यहां हालात काफी खराब हैं । 90 फीसदी इमारतें खंडहर बन गई हैं ।

‘मारियुपोल को बचाना बेहद मुश्किल’

रूस के हमले से जूझ रहे यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोडिमिर जेलेंस्की हाल ही में कहा था कि अतिरिक्त टैंकों, विमानों के बिना मारियुपोल को बचाना असंभव है । यूक्रेन रूसी मिसाइलों को शॉटगन और मशीनगनों से नहीं मार सकता । इसलिए हम आवश्यक हथियारों के लिए बहुत समय से इंतजार कर रहे हैं ।

खाने-पीने के लिए भी तरसे लोग

रूस की क्रूरता का आलम ऐसा रहा कि सैनिकों ने वहां एक स्कूल पर एयर स्ट्राइक कर दी । इस स्कूल में 400 लोगों ने शहण ली हुई थी । साफ है कि 33 दिन में यूक्रेन के मारियुपोल समेत कई शहरों की सूरत बदल गई है । लोग खाने-पीने के लिए परेशान हैं । लंबी लाइनों में घंटों इंतजार के बाद थोड़ा सा खाना नसीब हो रहा है ।

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