नई दिल्ली। कांग्रेस पार्टी में ऊपर से लेकर नीचे तक बदलाव की मांग को लेकर 23 नेताओं द्वारा सोनिया गांधी को लिखे पत्र की नींव पांच महीने पहले पड़ी। जब कांग्रेस के तिरुवनंतपुरम से सांसद शशि थरूर ने डिनर का आयोजन किया था। गांधी को यह पत्र सात अगस्त को भेजा गया था।
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पूर्णकालिक अध्यक्ष की मांग वाले पत्र पर पूर्व केंद्रीय मंत्री पी चिदंबरम, उनके बेटे कार्ति चिदंबरम, सचिन पायलट, अभिषेक मनु सिंघवी और मणि शंकर अय्यर ने हस्ताक्षर नहीं किए।
उन्होंने कहा, ‘मुझे शशि थरूर ने एक दिन के नोटिस पर डिनर पर आमंत्रित किया था। पार्टी के भीतर सुधारों के रचनात्मक मुद्दे को लेकर एक अनौपचारिक चर्चा हुई।
मणिशंकर अय्यर ने कहा कि उन्होंने पत्र पर इसलिए हस्ताक्षर नहीं किए क्योंकि किसी ने उनसे कहा नहीं। मार्च में आयोजित हुए डिनर को लेकर अय्यर ने कहा, ‘पार्टी को पुनर्जीवित करने और हमारी धर्मनिरपेक्ष साख पर वापस जाने को लेकर एक सामान्य चर्चा हुई।
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कांग्रेस पार्टी की सर्वोच्च निर्णय लेने वाली संस्था कांग्रेस कार्यसमिति की सोमवार को बैठक हुई। इसमें नेताओं द्वारा हस्ताक्षरित विवादास्पद पत्र पर चर्चा की गई और बाद में यथास्थिति बहाल करने का फैसला लिया गया।