पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (PFI) की विदेशों से फंडिंग मामले की जांच कर रहे प्रवर्तन निदेशालय (ED) की टीमों ने यूपी सहित 8 राज्यों में पीएफआई के 26 ठिकानों पर गुरुवार को छापेमारी की।
उत्तर प्रदेश में लखनऊ और बाराबंकी में छापे मारे गए। इसमें पीएफआई के यूपी प्रेसिडेंट नसीम अहमद के लखनऊ के इंदिरानगर स्थित पर टीम पहुंची। छापेमारी के दौरान नसीम अहमद घर पर नहीं मिला। सूत्रों के अनुसार ईडी ने नसीम के घर से संदिग्ध दस्तावेज बरामद किए हैं। नसीम पर दिल्ली के शाहीनबाग में सीएए व एनआरसी के खिलाफ प्रदर्शन में गड़बड़ी की साज़िश का आरोप है।
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इसके अलावा ईडी की टीम ने बाराबंकी में पीएफआई सदस्य मुदस्सिर के घर छापा मारा। मुदस्सिर पर पैसे लेकर सीएए प्रदर्शन में गड़बड़ी का आरोप है। जानकारी के अनुसार मुदस्सिर पर पीएफआई से 80 हज़ार रुपये लेने का आरोप है. जानकारी के अनुसार यूपी के अलावा केरल में 6, तमिलनाडु में 5, कर्नाटक में 3, दिल्ली में 2, बिहार में 2, महाराष्ट्र में 1, राजस्थान में 1 ठिकानों पर रेड की गई।
बताया जाता है कि बाराबंकी में कुर्सी थाना क्षेत्र के बहरौली के नदीम को लखनऊ पुलिस ने पिछले साल दिसंबर में गिरफ्तार किया था। नदीम सीएए-एनआरसी के प्रदर्शन के दौरान हिंसा में शामिल था।
ईडी ने इनके अलावा जिन ठिकानों पर छापा मारा है, उनमें भारत के पॉपुलर फ्रंट के चेयरमैन ओएम अब्दुल सलाम और केरल के प्रदेश अध्यक्ष नसरुद्दीन एलारोम के ठिकाने भी हैं। इन सभी जगह पर धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) के प्रावधानों के तहत छापे मारे गए। आरोप है कि इन फंड्स का इस्तेमाल पीएफआई के सहयोगी संगठनों ने उत्तर प्रदेश के विभिन्न हिस्सों और अन्य स्थानों पर विरोधी सीएए विरोध प्रदर्शनों को बढ़ावा देने के लिए किया था।
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बता दें ईडी पीएफआई के 4 संदिग्ध सदस्यों से पहले ही मथुरा जेल में पूछताछ कर चुकी है। इन पर हाथरस कांड के बाद वहां माहौल बिगाड़ने की साजिश रचने का आरोप है। इन्हें दिल्ली से हाथरस जाते समय वाहनों की चेकिंग के समय पकड़ा गया था।