पटना। बिहार विधानसभा का बुधवार को जहां पहले चरण के लिए मतदान हो रहा है। तो वहीं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मुजफ्फरपुर में में एक चुनावी सभा को संबोधित करते हुए विपक्षी दलों को झूठ, फरेब और भ्रम पर आधारित राजनीति करने का आरोपा लगाया है। इन लोगों के पास बिहार के विकास का न ही कोई रोडमैप है और न ही कोई अनुभव है। पीएम मोदी ने तेजस्वी यादव को जंगलराज का युवराज बताया है। पीएम ने कहा है कि जो जंगलराज की परंपरा से आए हैं, उन्हें बिहार की जनता सबक सिखाएगी।
You can imagine what will happen to the funds for #COVID19 if they come to power… What else can people of Bihar expect from the 'Yuvraj' (prince) of 'Jungle Raj', given their past record. You know them better than I do: Prime Minister Narendra Modi in Muzaffarpur
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— ANI (@ANI) October 28, 2020
पीएम मोदी ने कहा कि अपना काम, अपना कारोबार करने वालों के साथ इन लोगों का जो बर्ताव रहा है, उसे तो बिहार के लोग कभी नहीं भूल सकते। रंगदारी दी तो बचेंगे, नहीं तो किडनैपिंग इंडस्ट्री का कॉपीराइट तो उन लोगों के पास ही है। इसलिए इनसे सावधान रहना है।
ये दल जो बिहार के उद्योगों को बंद करने के लिए बदनाम हैं, जिनसे निवेशक कोसों दूर भागते हैं, वह लोग बिहार के लोगों को विकास के वायदे कर रहे हैं। सरकारी नौकरी तो छोड़िए, इन लोगों के आने का मतलब है, नौकरी देने वाली प्राइवेट कंपनियां भी बिहार से भाग जाएंगी। पीएम मोदी ने रैली में एनडीए को परिभाषित किया। पीएम ने कहा कि एनडीए मतलब बीजेपी, जदयू, वीआईपी और हम। आप लोग एनडीए को वोट दें। माना जा रहा है कि पीएम ने चिराग को लेकर ये बयान दिया है। बता दें कि चिराग पासवान लगातार खुद को एनडीए का हिस्सा बता रहे हैं।
पीए मोदी ने कहा कि बिहार का युवा विश्वास और आत्मविश्वास से भरा है। उन्होंने कहा कि हाल ही में एक और बड़ी योजना शुरु की गई है। जिनका लाभ बिहार के लोगों को भी मिलेगा। पीढ़ी दर पीढ़ी गांवों में रहने के बाद भी गांव के घरों का कोई कानूनी दस्तावेज न होने से ग्रामीणों को दिक्कतें होती हैं।
पीएम मोदी ने बताया कि बीते वर्षों में बिहार के इंफ्रास्ट्रक्चर को आधुनिक बनाने के लिए अभूतपूर्व काम किया गया है। बिहार के गरीब से गरीब परिवार को वह मूलभूत सुविधाएं मिल रही हैं, जिनका इंतजार उसने दशकों तक किया है। आज बिहार का युवा विश्वास और आत्मविश्वास से भरा हुआ है। उसकी आकांक्षाएं और अपेक्षाएं पूरी हों, इसके लिए बिहार में सुशासन का बने रहना जरूरी है। नीतीश जी के नेतृत्व में बिहार सुशासन के जिस रास्ते पर चला है उसे केंद्र में एनडीए की सरकार बनने के बाद नई ऊर्जा मिली है।
एनडीए सरकार इंफ्रास्ट्रक्चर में कर रही है निवेश
वह दल जिन्होंने बिहार को अराजकता दी, कुशासन दिया वह फिर मौका खोज रहे हैं। जिन्होंने बिहार के नौजवानों को गरीबी और पलायन दिया, सिर्फ अपने परिवार को हजारों करोड़ का मालिक बना दिया, वह फिर मौका चाहते हैं। एनडीए सरकार इंफ्रास्ट्रक्चर पर जो निवेश कर रही है, गांवों के पास बेहतर सुविधाएं विकसित करने पर जोर दे रही है, उसका लाभ बिहार के लोगों को मिलने वाला है। इसके लिए 1 लाख करोड़ रुपये का स्पेशल फंड बनाया गया है।
ये चुनाव आने वाले दशक में, इस सदी में बिहार के भविष्य को तय करेगा। आपका एक वोट ये तय करेगा कि आत्मनिर्भरता का संकल्प लेकर निकले भारत में बिहार की भूमिका क्या होगी? आपका एक वोट तय करेगा कि आत्मनिर्भर बिहार का लक्ष्य कितनी तेज़ी से हम पूरा कर पाएंगे।
असाधारण परिस्थिति में हो रहा है चुनाव
आप कल्पना कर सकते हैं, एक तरफ महामारी हो और साथ ही जंगलराज वाले राज करने आ जाएं तो ये बिहार के लोगों पर दोहरी मार की तरह हो जाएगा। जंगलराज के युवराज से बिहार की जनता पुराने ट्रैक रिकॉर्ड के आधार पर और क्या अपेक्षा कर सकती है। पीएम मोदी ने कहा कि ये समय हवा-हवाई बातें करने वालों को नहीं, बल्कि जिनके पास अनुभव है, जो बिहार को एक गहरे अंधेरे से निकालकर यहां लाए हैं, उन्हें दोबारा चुनने का है।
इस बार बिहार का चुनाव बहुत ही असाधारण परिस्थिति में हो रहा है। कोरोना के कारण आज पूरी दुनिया चिंता में है। महामारी के समय में बिहार को स्थिर सरकार बनाए रखने की जरूरत है। विकास को, सुशासन को सर्वोपरि रखने वाली सरकार की जरूरत है।