कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को सोमवार को पत्र लिखकर किसानों से गेहूं की खरीद सुनिश्चित करने की मांग की है।
श्रीमती वाड्रा ने कहा कि प्रदेश में किसानों को गेहूं की खरीद में परेशानियां उठानी पड़ रही हैं। पहली अप्रैल से गेहूं की खरीद शुरू हो चुकी है लेकिन कोरोना के कारण पहले क्रय केंद्रों पर ताले लगे रहे और अब जैसे ही किसानों क्रय केंद्रों पहुँच रहे हैं तो गेहूं खरीद कम करके आधा कर दी गयी है।
खबरों के अनुसार यूपी में इस साल कुल उत्पादित गेहूं के मात्र 14% हिस्से की सरकारी खरीद हुई है।
गांवों के क्रय केंद्र बंद हैं व किसानों से कम गेहूं खरीदा जा रहा है।
कमरतोड़ महंगाई और कोरोना से जूझ रहे किसानों को खरीद में राहत देने व गेहूं खरीद की तिथि बढ़ाने को लेकर मेरा पत्र pic.twitter.com/8JsKYYCMaf
— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) June 21, 2021
उन्होंने कहा कि पंजाब, हरियाणा जैसे प्रदेशों में गेहूं की सरकारी ख़रीद कुल उत्पादन का 80-85 फीसदी तक होता है जबकि उत्तर प्रदेश में 378 लाख टन उत्पादित गेहूं का 14 प्रतिशत ही सरकारी केंद्रों पर खरीदा जाता है। इससे सभी किसान अपना गेहूं बेच नहीं पाते हैं और क्रय केंद्रों पर गेहूं खरीद में सरकारी फरमानों के कारण अधिकारी मनमानी कर रहे हैं।
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कांग्रेस की उत्तर प्रदेश की प्रभारी महासचिव ने कहा कि कई गाँवों में क्रय केंद्र बंद हो चुके हैं और किसानों को दूर मंडियों में जाने के लिए मजबूर होना पड़ रहा है। प्रदेश के कई हिस्सों में लगातार बारिश होने से नमी के कारण गेहूं के सड़ने का खतरा पैदा हो गया है। इस स्थिति में किसान अपनी गाढ़ी पसीने की कमाई को औने पौने दाम पर बेचने को मजबूर होंगे।
श्रीमती वाड्रा ने अपने पत्र में लिखा कि कोरोना महामारी और महंगाई के कारण किसानों की हालत और ज्यादा ख़राब हो गयी है। फसल की खरीद नहीं मिलने तथा अपनी फसल औने-पौने दामों में बेचने के लिए मजबूर होने की स्थिति से किसानों कहीं का नहीं रहेगा।
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उन्होंने सरकार से क्रय केंद्रों पर 15 जुलाई तक किसानों के गेहूं खरीद की गारंटी की मांग करते हुए मुख्यमंत्री से आग्रह किया कि प्रत्येक क्रय केंद्र पर खरीद की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए ताकि किसानों को अनाज बेचने के लिए भटकना न पड़े।
श्रीमती वाड्रा ने कहा कि कई जिलों से खबरें आ रहीं हैं कि एक किसान से एक बार में अधिकम 30 या 50 कुंतल गेहूं खरीदा जा रहा है। इससे किसान बहुत परेशान हैं। इस पर तत्काल प्रभाव से रोक लगाकर किसानों से अधिकतम खरीद की जाए।