वास्तु (Vastu) के मुताबिक घर में हर चीज का ठीक जगह पर होना बेहद जरूरी होता है। घर का किचन, बेडरूम, मंदिर, सीढ़ियां आदि सही दिशा में होना बेहद जरूरी है। इसी तरह घर में घड़ी (Clock) का सही दिशा में लगा होना भी उतना ही जरूरी है।
>> सबसे पहले बात करते हैं स्टडी रूम की। यहां पर पूर्व या वायव्य कोण में घड़ी लगाना अच्छा होता है। इससे कार्यरत अध्ययनकर्ता की एकाग्रता बनी रहती है। इससे उनका समय फालतू कामों और दिमागी उलझनों में बर्बाद नहीं होता है।
>> बेडरूम में उत्तर या उत्तरपूर्व दिशा में ही घड़ी लगानी चाहिए। लेकिन यहां पर ज्यादा आवाज करने वाली क्लॉक नहीं लगानी चाहिए। साथ ही अलार्म रहित घड़ी भी नहीं लगाना चाहिए। यही नहीं, हर घंटे चेतावनी देने वाली टेबल क्लॉक बेडरूम में लगाना अच्छा नहीं होता है। इससे नींद में खलल पड़ती है। आइए ज्योतिषाचार्य पं. दयानंद शास्त्री से जानते हैं कि घर की किस जगह पर घड़ी लगाना है बेहतर।
>> ड्राइंग रूम की बात करें तो यहां पर उत्तर की ओर दीवार घड़ी लगानी चाहिए। इससे आर्थिक कार्य समय पर बनते रहेंगे। घर में धन की आवक समय पर होगी। ध्यान रहे कि उत्तर की ओर पितर और देवताओं का वास भी होता है। ऐसे में किसी देवी-देवता की फोटो वाली घड़ी दिवार पर लगाई जाए तो ड्राइंग रूम की साज-सज्जा में चार चांद लग जाते हैं। ड्राइंग रूम के मुख्य प्रवेश द्वार के सामने अगर आप सुंदर और बड़े अक्षरों वाली दीवार घड़ी लगाते हैं तो बेहतर होगा।
>> घड़ी लगाने के लिए शुभ दिशाओं की बात करें तो पहला अहम स्थान उत्तरपूर्व या ईशान कोण, दूसरा महत्वपूर्ण स्थान या दिशा पूर्व यानी सनराइज एंगल है। वहीं, तीसरा शुभ स्थान वायव्य कोण यानी उत्तर पश्चिम है। इन तीनों स्थानों में से सर्वोत्तम स्थान ईशान कोण ही है। ऐसा इसलिए क्योंकि यह वास्तु देवता के सिरोभाग को स्पर्श करता है।
अगर वास्तु देवता का सिरोभाग सही रहेगा तो घर में रहने वाले सदस्यों को भी मानसिक और शारीरिक सुख शांति का आभास होगा। उनके सभी काम समय पर होते रहते हैं। साथ ही किसी भी निरर्थक कार्य पर समय नष्ट नहीं होगा।