नई दिल्ली। भारतीय वायुसेना को जिस लड़ाकू विमान का इंतजार था। वह बुधवार को पांच राफेल लड़ाकु विमान के अंबाला एयरबेस पर पहुंचे के साथ अब खत्म हो गया है। फ्रांस के साथ हुए सौदे के तहत राफेल लड़ाकू विमान की पहली खेप हरियाणा के अंबाला एयरबेस पहुंच गई है।
The Touchdown of Rafale at Ambala. pic.twitter.com/e3OFQa1bZY
— Rajnath Singh (मोदी का परिवार) (@rajnathsingh) July 29, 2020
इन 5 राफेल जेट को रिसीव करने के लिए एयर चीफ मार्शल आरकेएस भदौरिया अंबाला एयरबेस पर मौजूद थे। जहां पर उन्होंने विमानों के पहुंचे पर स्वागत किया है। सुरक्षा के लिहाज में अंबाला में धारा 144 लागू कर दी गई है।
#WATCH First batch of #Rafale jets arrive in Ambala, Haryana from France. pic.twitter.com/wIfx8nuVIF
— ANI (@ANI) July 29, 2020
रक्षा मंत्रालय ने ट्वीट कर कहा, ‘बर्ड्स भारतीय वायुसीमा में पहुंच गई हैं भारतीय वायुसीमा में पहुंच गई हैं। हैप्पी लैंडिंग इन अंबाला।’
The Birds have entered the Indian airspace..Happy Landing in Ambala! @IAF_MCC pic.twitter.com/dh35pMDyYi
— रक्षा मंत्री कार्यालय/ RMO India (@DefenceMinIndia) July 29, 2020
27 जुलाई को फ्रांस के मेरिग्नाक बेस से 5 राफेल लड़ाकू विमान भारत के लिए रवाना हुए थे। लगातार 7 घंटे तक उड़ान भरते हुए कल शाम को अबूधाबी के करीब अल-दफ्रा फ्रेंच एयरबेस पर पहुंचे। थोड़ी देर में ये विमान अंबाला एयरबेस पर लैंड कर जाएंगे।
#HEAR: Indian #Rafale contingent establishes contact with Indian Navy warship INS Kolkata deployed in Western Arabian Sea. pic.twitter.com/NOnzKOo2fa
— ANI (@ANI) July 29, 2020
यूएई की सरजमीं से जब राफेल विमानों ने उड़ान भरी तो कुछ ही देर बाद भारतीय वायुसीमा में एंट्री ली। जब ये विमान अरब सागर से निकले तो INS कोलकाता कंट्रोल रूम से ही उनका स्वागत किया गया। इस दौरान INS कोलकाता कंट्रोल रूम की ओर से कहा गया, ‘इंडियन नेवल वॉर शिप डेल्टा 63 ऐरो लीडर। मे यू टच द स्काई विद ग्लोरी, हैप्पी हंटिंग. हैप्पी लैंडिंग.’
राफेल विमान भारतीय वायुसीमा में दाखिल हो गए हैं। कंट्रोल रूम ने इन पांचों विमानों का स्वागत किया और बेस्ट ऑफ लक कहा। ये विमान अंबाला पहुंच गए हैं।
राफेल के अंबाला मे आने की वायुसेना ने पूरी तैयारी कर ली है। ये विमान फ्रांस से 7 हजार किलोमीटर की दूरी तय करके आ रहे हैं। अगले दो घंटे में इनकी अंबाला एयरबेस पर लैंडिंग होगी।
सूत्रों ने बताया कि अंबाला एयरबेस पहुंचने पर इन 5 राफेल विमानों को स्वागत के रूप में वॉटर सैल्यूट दिया जा सकता है। राफेल के दीदार को अंबाला के लोग भी उत्साहित दिख रहे हैं। अंबाला में राफेल के स्वागत के लिए बाकायदा बैनर्स लगाएं गए हैं और पोस्टर्स के माध्यम से राफेल का वेलकम किया जा रहा है। राफेल के आने से भारत की ताकत बढ़ने जा रही है तो वहीं अंबाला के लिये भी यह क्षण गौरव से कम नहीं है।
इस बीच खबर है कि ईरान ने मंगलवार को संयुक्त अरब अमीरात स्थित फ्रांस के अल धाफ्रा हवाई ठिकाने के पास समुद्र में कई मिसाइलें दागीं। अल धाफ्रा एयर बेस पर आज भारत आ रहे 5 राफेल फाइटर जेट खड़े थे और उनके साथ भारतीय पायलट भी मौजूद थे।
राफेल की लैंडिंग की वजह से अंबाला एयरबेस की तरफ जाने वाली सड़क को बंद कर दिया गया है। पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी लगातार गश्त कर रहे हैं। कैंट में काम करने वाले, थलसेना, वायुसेना और अन्य लोगों के आई कार्ड चेक करने के बाद ही अंदर जाने की इजाज़त दी जा रही है। ग़ैर जरूरी काम के लिए जाने वालों के लिए रास्ते बंद हैं। मीडिया को भी एयरफ़ोर्स स्टेशन के गेट से 2 किलोमीटर दूर से रोका गया है।
राफेल के अंबाला लैंड करते ही वायुसेना प्रमुख की उपस्थिति में उन्हें रिसीव किया जाएगा। अगस्त के आखिर में वायुसेना में राफेल का फाइनल इंडक्शन होगा। ऐसी खबरें हैं कि तब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी शामिल हो सकते हैं।
अंबाला एयरफोर्स स्टेशन के असपास के 4 इलाकों में धारा 144 लागू कर दी गई है। जारी किए गये आदेशों के तहत ऐयरफोर्स स्टेशन के नजदीक लगते स्थानों धूलकोट, बलदेव नगर, गरनाला, पंजोखरा इत्यादि स्थानों से ऐयरफोर्स स्टेशन की किसी भी प्रकार की तस्वीर लेने पर प्रतिबन्ध लगाया गया है।
DSP मुनीष सहगल ने कहा कि पुलिस पूरे तरीके से अलर्ट रहेगी और नाके बन्दी की जाएगी। लोग उत्साह में फोटोग्राफी न करें इसका ध्यान रखा जाएगा। उन्होंने कहा यह राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़ा मसला है इसलिए एतिहातन यह कदम उठाए गए हैं।
10 एयरक्राफ्ट तयशुदा समय पर डिलीवरी के लिए तैयार हैं। हालांकि पांच एयरक्राफ्ट ट्रेनिग के लिए फ्रांस में ही रखे गए हैं, जबकि 5 को भारत भेजा गया है। फ्रांस की तरफ ये साफ किया जा चुका है कि बाकी फाइटर जेट की डिलीवरी 2021 के अंत तक हो जाएगी।
इससे पहले अबूधाबी के पास फ्रांस के एयरबेस तक फ्रांस वायुसेना के मिड एयर रिफ्यूलर राफेल के साथ थे। अब अबूधाबी के बाद भारतीय आईएल 78 रिफ्यूलर राफेल के साथ होंगे, जो की हवा में ही इन फाइटर जेट्स में ईंधन भरेंगे।
सूत्रों ने बताया कि ग्रुप कैप्टन हरकीरत सिंह राफेल स्कवाड्रन के पहले कमॉडिंग ऑफ़िसर होंगे। वो पांच अन्य पायलटों के साथ विमानो के लेकर आ रहे हैं। इन सभी पायलटों की ट्रेनिंग तकरीबन एक साल से फ्रांस में जारी थी।
अभी तक कुल 15 से 17 पायलट पूरी तरह से इसे उड़ाने में ट्रेंड हो चुके हैं। 17वीं स्कवाड्रन के 18 राफेल फाइटर जेट्स के लिये करीब तीस पायलट्स की ट्रेनिंग होगी। हालांकि 150 से 200 ग्राउंड स्टाफ को राफेल के स्कवाड्रन की देख-रेख के लिए ट्रेंड किया जा चुका है।
भारत तक पहुंचने के लिए राफेल को 7000 किलोमीटर की दूरी तय करनी होगी। कुल दो स्कवाड्रन यानी 36 फाइटर भारत ने फ्रांस से लिए हैं। फिलहाल इन फाइटरों को उड़ाने और टैक्निकल-वेपन सिस्टम की पहले बैच ट्रेनिंग पूरी हो चुकी है। अगले बैच की ट्रेनिंग अगले नौ महीनों तक फ्रांस में ही होगी।
भारतीय वायुसेना पिछले कई सालों से फाइटर स्कवाड्रन की कमी से जूझ रही थी। राफेल के आने से काफी हद तक इस कमी को पूरा किया जा सकेगा। राफेल का पहला स्कवाड्रन अंबाला और दूसरा हाशिमारा में स्थापित होगा।
इस फाइटर को दुनिया के सबसे एडवांस और सबसे ख़तरनाक फाइटरों में गिना जाता है। दुनिया की सबसे ख़तरनाक हवा से हवा में मार करने वाली BVR मिटिओर मिसाइल से राफेल लैस है और पाकिस्तान और चीन सीमा के किसी भी ख़तरे से पलक झपकते निपट सकेगा।