नई दिल्ली। त्योहारी सीजन पर आम व्यक्तियों को राहत देने के लिए केंद्र सरकार ने बड़ा फैसला लिया है। खाद्य तेलों की खुदरा कीमतें कम करने के लिए सरकार लगातार कोशिशें कर रही हैं। वहीं, सरकार ने खाद्य तेलों की कीमत तय करने के बाद बधुवार को पाम और सन फ्लॉवर ऑयल पर एग्री सेस तथा कस्टम ड्यूटी को कम कर दिया है।
बता दें कि, इससे पहले उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय ने तेल तथा तिलहन पर स्टॉक लिमिट लागू करने का आदेश जारी किया था। स्टॉक लिमिट 31 मार्च 2022 तक निर्धरित रहेगी। प्रदेशो को बताया गया है कि आदेश जारी कर इसका कठोरता से पालन कराएं।
वहीं, मंत्रालय के अनुसार, सरसों के तेल को छोड़कर अन्य खाद्य तेलों के खुदरा दामों में 3.26 फीसदी से 8.58 फीसदी तक की कमी आई है। हालांकि, सरकार ने खाद्य तेल के दामों को कम करने के उद्देश्य से कदम उठाए हैं, मगर दामों में उल्लेखनीय गिरावट नहीं आई है। सॉल्वेंट एक्सट्रैक्टर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया के कार्यकारी निदेशक बी वी मेहता ने बताया कि घरेलू बाजार एवं त्योहारी मौसम में खुदरा दामों में वृद्धि की वजह से सरकार ने खाद्य तेलों पर आयात शुल्क घटा दिया है।
एक साल में कितने बढ़े दाम
खाद्य तेल 2020 2021
सोया 106 154.95
सरसों 129.19 184.43
वनस्पति 95.5 136.74
सूरजमुखी 122.82 170.09
पाम 95.68 132.06
साथ ही, सरकार ने पाम, सोयाबीन एवं सूरजमुखी के तेल की कच्ची किस्मों पर मार्च, 2022 तक के लिए कृषि उपकर में कटौती की। इसके अतिरिक्त इनपर कृषि उपकर में भी कटौती की गई है। ये एक ऐसा कदम है जो त्योहारी सीजन में खाद्य तेलों के दामों को कम करने तथा घरेलू उपलब्धता को बढ़ाने में सहायता करेगा।