लखनऊ : योगी सरकार (Yogi Government) राज्य में सहकारी बैंकों (Government Banks) को आधुनिक और सुरक्षित बनाने की दिशा में एक और बड़ा कदम उठाने जा रही है। अब प्रदेश के 50 जिला सहकारी बैंकों और उत्तर प्रदेश कोऑपरेटिव बैंक (Cooperative Banks) लिमिटेड को साइबर सुरक्षा कवच से लैस किया जाएगा। इसके लिए बैंकों को कोर बैंकिंग सिस्टम (सीबीएस) आधारित क्लाउड प्लेटफॉर्म पर ऑनबोर्ड किया जाएगा। जिससे ग्राहकों की बैंकिंग से जुड़ी हर गतिविधि सुरक्षित और पारदर्शी होगी। इस महत्वाकांक्षी योजना को धरातल पर उतारने के लिए तकनीकी क्षेत्र की अग्रणी टीसीएस और विप्रो जैसी कंपनियां सहयोग करेंगी। ये कंपनियां सहकारी बैंकों के डाटा सुरक्षा, सर्वर मैनेजमेंट और साइबर हमलों से बचाव जैसी अत्याधुनिक तकनीकों के साथ पूरे सिस्टम को सशक्त बनाएंगी।
इस पूरी परियोजना के संचालन में नाबार्ड का सहयोग लिया जाएगा। इसमें तकनीकी मार्गदर्शन, प्रशिक्षण और निगरानी के साथ-साथ आर्थिक सहायता भी मिलेगी। इससे यह सुनिश्चित किया जाएगा कि सभी सहकारी बैंक सुरक्षित, सशक्त और ग्राहकों के लिए और ज्यादा भरोसेमंद बनें।
आम जनता को किया जाएगा जागरूक
योगी सरकार (Yogi Government) न केवल तकनीकी कवच तैयार कर रही है, बल्कि आम जनता को साइबर जागरूकता के लिए विशेष अभियान भी चलाएगी। बैंकिंग उपभोक्ताओं को बताया जाएगा कि साइबर धोखाधड़ी से कैसे बचा जाए, किन नंबरों पर शिकायत करें और कौन से व्यवहार सुरक्षित हैं। इस उद्देश्य से बैंक शाखाओं, ग्राम पंचायतों और डिजिटल मीडिया के माध्यम से भी लोगों को जागरूक किया जाएगा।
10 करोड़ रुपये का विशेष प्रावधान
इस योजना को सफलतापूर्वक लागू करने के लिए राज्य सरकार ने वित्तीय वर्ष 2025-26 में 10 करोड़ रुपये का विशेष बजटीय प्रावधान किया है। यह राशि तकनीकी संसाधनों की स्थापना, सर्वर सुरक्षा, प्रशिक्षण, साइबर जागरूकता और क्लाउड प्लेटफॉर्म पर व्यय की जाएगी।
बैंकों की वित्तीय स्थिति होगी सशक्त
इस पहल के तहत जिला सहकारी बैंकों (Cooperative Banks) की न केवल साइबर सुरक्षा को मजबूती दी जाएगी, बल्कि उनकी वित्तीय स्थिति को भी सशक्त बनाया जाएगा। बेहतर टेक्नोलॉजी इंफ्रास्ट्रक्चर और पारदर्शी सेवाओं से बैंकिंग सेक्टर में लोगों का भरोसा बढ़ेगा। जिससे जमा राशि और ऋण वितरण में भी वृद्धि होगी।