सऊदी अरब में मुस्लिम समुदाय का पवित्र तीर्थ स्थल मक्का मस्जिद को सात महीने बाद रविवार को श्रद्धालुओं के लिए खोल दिया गया।
यह मस्जिद वैश्विक महामारी कोरोना वायरस (कोविड-19) के कारण गत सात महीने से श्रद्धालुओं के लिए बंद थी।
सरकारी न्यूज एजेंसी एसपीए ने अपनी रिपोर्ट में बताया कि कोरोना वायरस को लेकर लागू पाबंदियों को हटाने के दूसरे चरण में अपने नागरिकों और निवासियों के लिए पवित्र शहर उमर तीर्थयात्रा को फिर से शुरू किया है और श्रद्धालुओं की क्षमता को 30 प्रतिशत से बढ़ाकर 75 प्रतिशत कर दिया गया है।
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एजेंसी ने बताया कि हज एवं उमराह मंत्री कोविड-19 की रोकथाम को लेकर सभी आवश्यक एहतियात को लागू करवाने की हर संभव कोशिश कर रहे हैं। मस्जिद परिसर की सफाई के लिए लगभग 4,000 कर्मचारियों को लगाया गया है और मस्जिद परिसर को दिन में 10 बार कीटाणुशोधन किया जा रहा है।
सामूहिक दुष्कर्म के बाद मारी गई किशोरी के परिवारीजनों को प्रदेश सरकार की ओर से दी गई सहायता राशि का प्रमाण पत्र रविवार को सांसद उपेंद्र रावत ने सौंपा। इसके अलावा विधायक रामनरेश रावत ने भी पहुंचकर परिजनों से मुलाकात की।
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प्रदेश सरकार की ओर से पीड़ित परिवार को आर्थिक सहायता के रूप में बैंक खाते में सवा आठ लाख रुपये की धनराशि भेजी गई है। इसका प्रमाण पत्र सांसद उपेंद्र रावत ने पीड़ित परिवार को सौंपा। उनके साथ एसडीएम सदर अभय पांडेय व अन्य लोग भी थे।इस दौरान सांसद ने पीड़ित परिवार के घर तक सड़क का निर्माण कराने का वायदा किया। रविवार को बछरावां विधायक रामनरेश रावत भी पीड़ित परिवार से मिलने उनके घर पहुंचे। विधायक को देखकर मृतका का पिता पैर पकड़कर रोने लग।
इस पर विधायक ने पिता को संभाला और चारपाई पर बैठाकर शांत कराया। विधायक ने कहा कि सरकार और जिला प्रशासन आपकी मदद कर रहा है। कोई परेशान हो तो हमें बताएठ। मैं मुख्यमंत्री तक आपकी बात पहुंचाऊंगा। दूसरी तरफ सामूहिक दुष्कर्म व हत्या के आरोप में गिरफ्तार दूसरे अभियुक्त रिषिकेश के पिता ने अपने बेटे को बेकसूर बताते हुए फर्जी केस में फंसाने का आरोप पुलिस पर लगाया है। उसने मामले की पारदर्शिता से जांच की मांग की है।