धर्म डेस्क। सूर्य ग्रहण 14 दिसंबर को लगने जा रहा है। यह साल का दूसरा और आखिरी सूर्य ग्रहण होगा। ज्योतिषीय गणना के अनुसार, यह सूर्य ग्रहण अगहन मास की सोमवती अमावस्या के दिन वृश्चिक राशि और ज्येष्ठा नक्षत्र में लग रहा है। सूर्य ग्रहण भारत में दिखाई नहीं देगा। ऐसे में यहां सूर्य ग्रहण का सूतक काल मान्य नहीं होगा।
सूर्य ग्रहण का समय
सूर्य ग्रहण भारतीय समयानुसार 14 दिसंबर को शाम 7 बजकर 3 मिनट से शुरू हो जाएगा और 15 दिसंबर की रात 12 बजकर 23 मिनट पर समाप्त होगा। ज्योतिषीय और धार्मिक दृष्टि से ग्रहण एक अशुभ समयावधि होती है। इसलिए इस दौरान कई चीजों को करना वर्जित माना जाता है। आइए जानते हैं ग्रहण के दौरान क्या करें और क्या न करें।
ग्रहण के दौरान बरतें ये सावधानियां
- ग्रहण के दौरान और ग्रहण के खत्म होने तक भगवान की मूर्ति को नहीं छूना चाहिए।
- ग्रहण में घर के मंदिरों के कपाट बंद कर देना चाहिए। ताकि भगवान पर ग्रहण का असर ना हो सके।
- ग्रहण के दौरान गर्भवती महिलाओं को ग्रहण के दौरान ना तो ग्रहण देखना चाहिए और ना ही घर के बाहर निकलना चाहिए।
- ग्रहण में स्त्री-पुरुष को शारीरिक संबंध नहीं बनाना चाहिए।
- ग्रहण के दौरान शारीरिक संबंध बनाने से गर्भधारण में संतान पर बुरा असर पड़ता है।
- सूतक लगने पर और ग्रहण के दौरान सबसे ज्यादा नकारात्मक शक्तियां हावी रहती हैं। ग्रहण में कभी भी श्मशान घाट में नहीं जाना चाहिए।
- सूतक लगने पर किसी भी तरह का कोई भी शुभ कार्य करने से बचना चाहिए। ग्रहण में किया गया कोई भी शुभ कार्य सफल नहीं होता।
- ग्रहण के दौरान बाल और नाखून काटने से बचना चाहिए। इसके अलावा न तो कुछ खाना चाहिए और न ही खाना बनाना चाहिए।
ग्रहण के बाद जरूर करें ये कार्य
- सूर्य ग्रहण के दौरान सूर्य से संबंधित मंत्रों का जाप करना चाहिए।
- ग्रहण खत्म होने के बाद स्नान कर नए कपड़े पहने फिर कुछ दान करें।
- इसके बाद कोई अन्य कार्य करना शुरू करें।
- ग्रहण खत्म होने के बाद पूरे घर में गंगाजल डालकर शुद्धि करें।
- ग्रहण खत्म होने पर घर के पास मौजूद किसी मंदिर में पूजा कर दान करें।
- मान्यता यह भी है कि ग्रहण खत्म होने पर गाय को रोटी खिलाने से अच्छा फल प्राप्त होता है।
- मां लक्ष्मी की कृपा पाने के लिए ग्रहण खत्म होने के बाद इन्द्र देव की पूजा करने का भी विधान है।