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प्रदेश के हर नागरिक के जीवन और स्वास्थ्य की सुरक्षा के प्रति राज्य सरकार प्रतिबद्ध : योगी

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ  ने आज अपने सरकारी आवास पर 5000 नवीन स्वास्थ्य उपकेन्द्रों, 15 बी0एस0एल0-2 प्रयोगशालाओं तथा माँ नवजात ट्रैकिंग ऐप (मंत्र) ‘MaNTrA’ का लोकार्पण किया। इस अवसर पर उन्होंने मातृ स्वास्थ्य एवं टीकाकरण सेवाओं में उत्कृष्ट सेवाएं प्रदान करने वालीं ए0एन0एम0 को प्रशस्ति-पत्र प्रदान कर सम्मानित किया। इनमें विभिन्न जनपदों में कार्यरत ए0एन0एम0 शामिल हैं।

मुख्यमंत्री  ने इस अवसर पर आयोजित कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कहा कि प्रदेश के प्रत्येक नागरिक के वन और स्वास्थ्य की सुरक्षा के प्रति राज्य सरकार प्रतिबद्ध है। विगत साढ़े चार वर्षों के दौरान स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता और उसमें सुधार के अभूतपूर्व और उल्लेखनीय प्रयास किए गए हैं, जिनके बेहतर परिणाम अब दिखायी देने लगे हैं।

मुख्यमंत्री  ने कहा कि आज 5000 नवीन स्वास्थ्य उपकेन्द्रों, 15 बी0एस0एल0-2 प्रयोगशालाओं तथा माँ नवजात ट्रैकिंग ऐप ‘MaNTrA’ के लोकार्पण से नागरिकों को गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध होंगी। उन्होंने लोकार्पित नवीन स्वास्थ्य उपकेन्द्रों के जनपदों से सम्बन्धित जनप्रतिनिधिगण और जनता को बधाई और शुभकामनाएं दीं।

मुख्यमंत्री  ने कहा कि आजादी के बाद 74 वर्षों तक प्रदेश में 20,000 स्वास्थ्य उपकेन्द्र थे, जबकि वर्तमान सरकार ने एक दिन में एक साथ 5,000 स्वास्थ्य उपकेन्द्रों का शुभारम्भ कर नया इतिहास रचा है। यह स्वास्थ्य उपकेन्द्र, स्वास्थ्य सुविधाओं से वंचित क्षेत्रों और पिछड़े जनपदों में जनता को बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं उपलब्ध कराने में सक्षम होंगे।

मुख्यमंत्री  ने कहा कि कोरोना कालखण्ड में देश और प्रदेश में कोविड को नियंत्रित करने में उल्लेखनीय सफलता मिली है। किन्तु कोरोना अभी समाप्त नहीं हुआ है। इसका नया वैरियण्ट विश्व के कई देशों में लोगों को प्रभावित कर रहा है। उन्होंने कोविड नियंत्रण के लिए प्रधानमंत्री  नरेन्द्र मोदी  का अभिनन्दन करते हुए स्वास्थ्य विभाग की टीम के प्रयासों की सराहना की।

मुख्यमंत्री  ने कहा कि प्रदेश में 16 करोड़ से अधिक कोविड वैक्सीन की डोज लोगों को उपलब्ध करायी जा चुकी है। वैक्सीनेशन का कार्य अभियान चलाकर ते से किया जा रहा है। वैक्सीन ही सुरक्षा कवच है। केवल वैक्सीनेशन ही नहीं, बल्कि उत्तर प्रदेश कोविड के सर्वाधिक टेस्ट करने वाला राज्य भी बन चुका है। यहां पर कोविड के सर्वाधिक बेड्स उपलब्ध हैं। उत्तर प्रदेश जैसे बड़ी आबादी वाले राज्य में बेहतर कोविड प्रबन्धन से कोरोना महामारी को नियंत्रित करने में सफलता मिली है।

मुख्यमंत्री  ने कहा कि इन्सेफेलाइटिस सहित वेक्टर जनित रोगों के नियंत्रण में राज्य सरकार ने सफलता प्राप्त की है। स्वच्छ भारत मिशन के तहत शौचालयों का निर्माण व्यापक पैमाने पर किया गया है। यह मिशन अब एक जन आन्दोलन का रूप ले चुका है। इसी प्रकार, जल वन मिशन के अन्तर्गत प्रदेश के नागरिकों को शुद्ध पेयजल की सुविधा उपलब्ध हो रही है। इन्सेफेलाइटिस और कोविड नियंत्रण में सफलता अन्तर्विभागीय समन्वय और टीम वर्क का प्रमाण है।

मुख्यमंत्री  ने कहा कि कोविड के प्रथम चरण के दौरान राज्य में कोविड जांच की सुविधा उपलब्ध नहीं थी, किन्तु आज 15 जनपदों में बी0एस0एल0 लैब के लोकार्पण के बाद प्रदेश के सभी 75 जनपदों में आर0टी0पी0सी0आर0 जांच सुविधा सम्पन्न लैब क्रियाशील हो जाएंगी, जोकि वायरस से होने वाली बीमारियों की जांच सुविधा में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगी। प्रदेश में प्रतिदिन 04 लाख जांच की क्षमता विकसित की जा चुकी है।

मुख्यमंत्री  ने कहा कि उत्तर प्रदेश का विगत साढ़े चार वर्षों के दौरान मातृ शिशु मृत्यु दर को कम करने तथा संस्थागत प्रसव के क्षेत्र में बेहतर प्रदर्शन रहा है। उत्तर प्रदेश पूर्व में जनकल्याणकारी योजनाओं के क्रियान्वयन में पीछे था, किन्तु वर्तमान सरकार के कार्यकाल में प्रदेश ने जनकल्याणकारी योजनाओं एवं कार्यक्रमों के क्रियान्वयन में उपलब्धि हासिल की है। प्रदेश में हेल्थ इन्फ्रास्ट्रक्चर सुदृढ़ हुआ है। वर्ष 2017 में प्रत्येक जनपद में लाइफ सपोर्ट एम्बुलेंसेंज की उपलब्धता मात्र 02-02 थी, किन्तु वर्तमान राज्य सरकार के प्रयासों से अब प्रत्येक जनपद में इनकी उपलब्धता 05 से 07 हो चुकी है। इसी प्रकार, ‘108’ व ‘102’ एम्बुलेंस सेवा पर्याप्त संख्या में प्रत्येक जनपद में उपलब्ध हैं। इन एम्बुलेंस सेवाओं का रिस्पॉन्स टाइम कम हुआ है। अस्पतालों व स्वास्थ्य केन्द्रों की श्रृंखला में विस्तार हुआ है। पूर्व में प्रदेश के 36 जनपदों में आई0सी0यू0 बेड्स उपलब्ध नहीं थे। किन्तु वर्तमान में प्रत्येक जनपद में पर्याप्त संख्या में आई0सी0यू0 बेड उपलब्ध हैं।

मुख्यमंत्री  ने कहा कि सभी सरकारी चिकित्सा इकाइयों में प्रसव उपरान्त सूचना का संकलन किए जाने के आशय से माँ नवजात ट्रैकिंग ऐप (मंत्र) ‘MaNTrA’ प्रदेश की स्वास्थ्य सेवाओं में संचार क्रान्ति का महत्वपूर्ण प्रयोग साबित होगा। यह पेपरलेस सुविधा और पारदर्शी व्यवस्था की दिशा में अत्यन्त प्रभावी कदम है। ‘मंत्र’ ऐप के माध्यम से राजकीय चिकित्सा स्वास्थ्य इकाइयों पर होने वाले प्रसव से सम्बन्धित सूचनाओं का संकलन, मूल्यांकन और अनुश्रवण हो सकेगा। इससे मातृ शिशु मृत्यु दर में कमी आएगी।

चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री  जयप्रताप सिंह ने मुख्यमंत्री  के प्रति आभार व्यक्त करते हुए कहा कि उनके नेतृत्व में उत्तर प्रदेश की स्वास्थ्य सेवाओं में विगत साढ़े वर्षों के दौरान महत्वपूर्ण बदलाव आए हैं। चिकित्सा एवं स्वास्थ्य सुविधाओं के प्रत्येक क्षेत्र में नई पहल हुई है। यह सुविधाएं सुदूरवर्ती एवं ग्रामीण क्षेत्रों के लोगों को उपलब्ध हो रही हैं। इनके माध्यम से एक स्वस्थ समाज व प्रदेश का निर्माण हो रहा है। मुख्यमंत्री आरोग्य मेला के माध्यम से प्रदेश के नागरिकों को निरन्तर जांच, स्वास्थ्य एवं चिकित्सा आदि सुविधाएं उपलब्ध हो रही हैं।

अपर मुख्य सचिव चिकित्सा एवं स्वास्थ्य  अमित मोहन प्रसाद ने एक ही दिन एक साथ 5,000 नवीन स्वास्थ्य उपकेन्द्रों के लोकार्पण को देश के अन्दर सबसे बड़ी पहल बताते हुए कहा कि इससे स्वास्थ्य सेवाओं के क्षेत्रीय असंतुलन को दूर किया गया है। इसी प्रकार, बी0एस0एल0 लैब तथा मंत्र ऐप के माध्यम से भी लोगों को विभिन्न प्रकार की स्वास्थ्य सुविधाएं मिलेंगी। राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन की मिशन निदेशक सु अपर्णा उपाध्याय ने मुख्यमंत्री  सहित कार्यक्रम में उपस्थित अतिथियों के प्रति धन्यवाद ज्ञापित किया।

इस अवसर पर चिकित्सा एवं स्वास्थ्य राज्यमंत्री  अतुल गर्ग, अपर मुख्य सचिव गृह  अवनीश कुमार अवस्थी सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी, यूनीसेफ के प्रतिनिधि आदि उपस्थित थे।

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