उत्तर प्रदेश के लखनऊ में जन्माष्टमी के दिन स्मार्ट मीटर उपभोक्ताओं की अचानक बिजली गुल होने के मामले में स्पेशल टास्क फोर्स ने खुलासा किया है कि मीटर लगाने से पहले उसकी केंद्रीय विद्युत प्राधिकरण के नियमानुसार तकनीकी जांच ही नहीं कराई गई थी।
सूत्रों ने बताया कि एसटीएफ ने स्मार्ट मीटर मामले की जांच रिपोर्ट गृह विभाग को सौंप दी है। रिपोर्ट में एसटीएफ को कई चौंकाने वाले तथ्य मिले हैं। जांच में पता चला कि उपभोक्ताओं के यहां स्मार्ट मीटर लगाने से पहले उसकी केंद्रीय विद्युत प्राधिकरण के नियमानुसार तकनीकी जांच ही नहीं कराई गई थी
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उन्होने बताया कि स्मार्ट मीटर लगाने से पहले अवस्थापना सुविधाओं पर भी ध्यान नहीं दिया गया। तय पैरामीटर की अनदेखी करते हुए सिस्टम की निगरानी, साफ्टवेयर अपग्रेडेशन आदि की उचित व्यवस्था न करने से स्मार्ट मीटर में खामियां बनी हुई हैं। यूएटी के बिना कंपनी को स्मार्ट मीटर लगाने की अनुमति देने में जल्दबाजी दिखाने के लिए प्रबंधन पर भी सवाल उठाये गये हैं।
रिपोर्ट में स्मार्ट मीटर में खामियों की लगातार मिल रही शिकायतों पर प्रबंधन द्वारा समय से उचित कार्यवाही न करने का जिक्र भी किया गया है। एसटीएफ ने पूरे मामले में तकनीकी पहलू की जांच अलग से कराए जाने की सिफारिश भी की है।
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उन्होने बताया कि एसटीएफ द्वारा गृह विभाग को सौंपी गई जांच रिपोर्ट पर जल्द ही दोषियों के खिलाफ कार्रवाई होगी। गौरतलब है कि जन्माष्टमी के दिन लखनऊ में एक साथ स्मार्ट मीटर धारकों के बिजली गुल हो गयी थी। ऊर्जा मंत्री के निर्देश पर 13 अगस्त को पूरे मामले की जांच एसटीएफ को सौंपी गई थी।