नई दिल्ली| रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास ने शेयर बाजार में सतर्कता बरते की जरूरत की ओर इशारा देते हुये कहा कि इस बाजार का वास्तविक अर्थव्यवस्था के साथ तालमेल नहीं दिख रहा है। ऐसी स्थिति में शेयर बाजारों की दिशा आने वाले समय में जरूर बदलेगी।
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”वैश्विक वित्तीय प्रणाली में काफी नकदी उपलब्ध है, यही वजह है कि शेयर बाजार में तेजी का रुख बना हुआ है। यह वास्तविक अर्थव्यवस्था की स्थिति से बिल्कुल अलग है। आने वाले समय में इसकी दिशा सुधरेगी, लेकिन ऐसा कम होगा इसे बताना मुश्किल है।
इस पर गवर्नर ने कहा, ”जहां तक मेरी जानकारी है सभी बैंकों के पास 31 अगस्त तक उनके निदेशक मंडल से मंजूरी प्राप्त पुनर्गठन रूपरेखा उपलब्ध होगी और उसके बाद वह उसपर अमल करेंगे।
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इस योजना से किसे फायदा मिलेगा इसका निर्णय बैंकों द्वारा किया जाएगा। गवर्नर ने कहा कि पुनर्गठन योजना की पात्रता के बारे में आरबीआई की 6 अगस्त की अधिसूचना में बता दिया गया है। इस अधिसूचना में कहा गया है कि पुनर्गठन का लाभ ऐसे कर्जदारों द्वारा उठाया जा सकता है, जिनका ऋण खाता एक मार्च को मानक श्रेणी में था और उसमें डिफाल्ट 30 दिन से अधिक नहीं होना चाहिए।