राष्ट्रीय स्वंयसेवक संघ के दस शीर्ष नेताओं की तीन दिन की बैठक 3 जून से 5 जून तक देश की राजधानी दिल्ली में होगी। इस बैठक में संघसरचालक मोहन भागवत, सरकार्यवाह दत्तात्रय होसबोले, सह सरकार्यवाह कृष्ण गोपाल, अरुण कुमार, रामदत्त, डॉ. मनमोहन वैद्य, मुकुंद सीआर और रामदत्त चक्रधर समेत भैयाजी जोशी, सुरेश सोनी, एस वैग़या शामिल होंगे।
इस बैठक सभी समसामयिक और राजनैतिक मुद्दों पर भी चर्चा होगी, जिसमें कोरोना सहित कई अन्य महत्वपूर्ण मुद्दों पर भी चर्चा की जाएगी। सूत्रों के अनुसार राजनैतिक मुद्दों पर चर्चा के समय बीजेपी के केंद्रीय नेतृत्व से प्रतिनिधि भी शामिल हों सकते हैं।
गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश में अगले साल शुरुआत में विधानसभा चुनाव होने हैं, जिसके चलते विपक्षी दलों, खासकर सपा और कांग्रेस ने संक्रमण के प्रबंधन को लेकर राज्य सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। वहीं, संघ और बीजेपी की शीर्ष लीडरशिप किसी भी हाल में यूपी की सत्ता को नहीं गंवाना चाहती है। ऐसे में संघ-बीजेपी डैमेज कंट्रोल के मोड में जुट गए हैं।
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उत्तर प्रदेश के सियासी हालात को लेकर दिल्ली में बीते 23 मई को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृहमंत्री अमित शाह, बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा के साथ संघ के सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबोले की अहम बैठक हुई थी। बैठक में उत्तर प्रदेश में कोरोना को लेकर पार्टी की छवि पर जो प्रभाव पड़ा है और उसका आने वाले चुनावों पर क्या असर हो सकता है इसपर चर्चा हुई।
उधर, लखनऊ में भी बीजेपी के महासचिव बीएल संतोष ने पार्टी के नेताओं और मुख्यमंत्रियों के साथ तीन दिन बारी-बारी से मुलाकात की। उन्होंने संगठन और सरकार दोनों के बारे में नेताओं से फीडबैक लिया।