नई दिल्ली। जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले में 26 भारतीयों की मौत हो गई थी। घटना के बाद इस हमले की जिम्मेदारी द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) ने ली थी। इसके बाद से ही भारत सरकार ने कई सख्त कदम उठाए। यही कारण है कि पाकिस्तान के साथ ही इन आतंकियों की रूह कांपने लगी है। भारत के एक्शन के बाद द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) ने अपने हाथ खींच लिए हैं और हमले की जिम्मेदारी लेने से इंकार कर दिया है।
डिजिटल प्लेटफॉर्म हैक किया गया: TRF
द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) ने भी बयान जारी कर पहलगाम हमले से पल्ला झाड़ लिया है। समूह ने एक पोस्ट जारी कर कहा कि द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) पहलगाम की घटना में किसी भी तरह की संलिप्तता से साफ इनकार करता है। TRF ने अपने नए बयान में कहा कि हमारा डिजिटल प्लेटफॉर्म हैक किया गया और हमले की जिम्मेदारी लेने वाला मैसेज डाला गया।
पहलगाम हमले के बाद लश्कर ए तैयबा के डिप्टी कमांडर सैफुल्लाह कसूरी का एक वीडियो सामने आया था, जिसमें उसने आतंकी हमले से खुद को जिम्मेदार मानने से इंकार कर दिया था। TRF ने भारतीय एजेंसियों पर साजिश रचने का आरोप भी लगाया और मामले की जांच शुरू करने की बात कही है।
TRF ने हमले के बाद अटैक की खुद ली थी जिम्मेदारी
जम्मू-कश्मीर में हुए आतंकी हमले के बाद द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) ने इसकी जिम्मेदारी ली थी। हालांकि भारत के एक्शन के डर से अब आतंकी संगठन और पाकिस्तान की नींद उड़ गई है। उसे डर सता रहा है कि कहीं भारत से पंगा लेना भारी न पड़ जाए। ऐसा इसलिए क्योंकि बीते 24 घंटों में भारतीय सेना ने कश्मीर में 7 आतंकियों के घरों को तहस-नहस कर दिया है। इसके साथ ही कई और आतंकियों के घरों को तहस नहस करने की कार्रवाई करने पर काम हो रहा है।
घाटी में फिर बहा कश्मीरी पंडित का खून, TRF आतंकी संगठन ने ली जिम्मेदारी
टीआरएफ को यही डर है कि अब भारत किसी भी कीमत पर बदला लेकर रहेगा। यही कारण है कि उसने घटना की जिम्मेदारी लेने से साफ इंकार कर दिया है। इसके साथ ही उसकी तरफ से एक लेटर भी जारी किया है।