लंदन। ब्रिटेन में विभिन्न दलों के 36 सांसदों के एक समूह ने विदेश मंत्री डॉमिनिक राब को एक पत्र लिख कर उनसे कहा है कि भारत में नए कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों के आंदोलन का ब्रिटिश पंजाबी लोगों पर प्रभाव के बारे में वह अपने भारतीय समकक्ष एस जयशंकर को अवगत कराएं। यह पत्र शुक्रवार को जारी किया गया और इसे लेबर पार्टी के सिख सांसद तनमनजीत सिंह धेसी ने तैयार किया है। इस पर भारतीय मूल के कई सांसदों के हस्ताक्षर हैं।
इसी महीने लॉन्च होगा PUBG Mobile की टक्कर का देसी गेम FAU-G
इन नेताओं में वीरेंद्र शर्मा, सीमा मल्होत्रा और वेलेरी वाज़ के साथ ही जेरेमी कॉर्बिन भी शामिल हैं। किसानों के आंदोलन के बारे में विदेशी नेताओं के बयानों पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए भारत ने कहा है कि ऐसी टिप्पणियों भ्रामक सूचनाओं पर आधारित हैं तथा इस तरह की टिप्पणियां अनुचित हैं क्योंकि यह मामला एक लोकतांत्रिक देश के आंतरिक मामलों से संबंधित है।
सांसदों के इस पत्र में मंत्री से आग्रह किया गया है कि वह “पंजाब में बिगड़ती स्थिति” पर चर्चा करने के लिए उनके साथ तत्काल बैठक करें। इसके साथ ही इस मुद्दे पर भारत सरकार के साथ विदेश, राष्ट्रमंडल और विकास कार्यालय (एफसीडीओ) के किसी भी संवाद के बारे में अद्यतन जानकारी देने की मांग की।
बच्चों के बिजनेस को बड़ा मंच देगा फिक्की फ्लो, विजेताओं को मिलेगा विशेषज्ञों का साथ
पत्र में कहा गया है कि यह ब्रिटेन में सिखों और पंजाब से जुड़े लोगों के लिए विशेष रूप से चिंता का विषय है, हालांकि अन्य भारतीय राज्यों पर भी इसका खासा प्रभाव पड़ता है। कई ब्रिटिश सिखों और पंजाबी लोगों ने अपने सांसदों के समक्ष इस मामले को उठाया है, क्योंकि वे पंजाब में परिवार के सदस्यों और पैतृक भूमि से सीधे प्रभावित हैं। एफसीडीओ ने अभी तक इस पत्र पर या मामले पर कोई आधिकारिक बयान नहीं दिया है।