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2022 में लोनिवि को मिला नया मंत्री, जमकर हुआ सड़कों का विकास कार्य

UP PWD

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लखनऊ। उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (CM Yogi) की दूसरी बार बनी सरकार में लोक निर्माण विभाग (UP PWD ) के मंत्री का चेहरा बदला और सड़क मरम्मत कार्य की गति धीमी पड़ गयी। इसके बाद भी वर्ष 2021 के मुकाबले वर्ष 2022 में उप्र में सड़कों को लेकर जमकर विकास कार्य हुआ।

प्रदेश की जनता ने बहुमत देकर दूसरी बार भाजपा की उत्तर प्रदेश में सरकार बनायी और पुन: मुख्यमंत्री के पद पर योगी आदित्यनाथ ने शपथ ली। वर्ष 2022 में हुए बड़े घटनाक्रम में भाजपा की दूसरी बार बनी सरकार चर्चा का विषय रही। इसके तुरंत बाद लोक निर्माण विभाग (UP PWD ) जैसे महत्वपूर्ण मंत्रालय की जिम्मेदारी को कांग्रेस से भाजपा में आये जितिन प्रसाद को दे देना भी सुर्खियों का विषय बना। योगी आदित्यनाथ की पहली सरकार में यह महत्वपूर्ण मंत्रालय उपमुख्यमंत्री रहे केशव प्रसाद मौर्य देख रहे थे।

विधानसभा चुनाव से पूर्व प्रदेश के समस्त जनपदों में करोड़ों रुपयों की परियोजनाओं का लोकार्पण, शिलान्यास तत्कालीन लोक निर्माण विभाग के मंत्री व उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने किया था। केशव प्रसाद मौर्य ने बौद्ध सर्किट पर कार्य करते हुए हजारों करोड़ के सड़क निर्माण कार्य कराये, जिससे 14 जनपदों की सड़कों को जोड़ने वाले मुख्य मार्गों की स्थिति सुधर गयी। गड्ढ़ायुक्त से गड्ढ़ामुक्त अभियान की शुरुआत भी केशव मौर्य के कार्यकाल की बड़ी उपलब्धि के रुप से गिना जाता है।

केशव प्रसाद मौर्य ने जनप्रतिनिधियों की मांग पर हमीरपुर, ललितपुर, बिजनौर, सोनभद्र, महाराजगंज, चित्रकूट, शाहजहांपुर, बलरामपुर, बहराइच जैसे जनपदों में भी सड़क निर्माण कार्यों को कराया, जहां के जनप्रतिनिधि कई वर्षों से अच्छी सड़कों की मांग करते रहे थे। उस वक्त लोक निर्माण विभाग मंत्रालय देखते हुए केशव प्रसाद ने शहरों को जोड़ने वाली कई सड़कों, सेतुओं का निर्माण कार्य कराया तो एक्सप्रेस वे के कार्यों के लिए निरंतर समीक्षा बैठकें व स्थलीय निरीक्षण किया था।

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मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के दूसरे कार्यकाल में लोक निर्माण विभाग मंत्री बने जितिन प्रसाद के लिए पहला ही अनुभव खराब निकला, जब 20 जुलाई 2022 में उनके विभाग के विभागाध्यक्ष मनोज गुप्ता को स्थानांतरण में खेल करने के आरोप में निलम्बित किया गया। मुख्यमंत्री कार्यालय से जारी आदेश में विभागाध्यक्ष के साथ ही प्रमुख अभियंता नियोजन राकेश व सीनियर स्टॉफ आफिसर शैलेन्द्र यादव का भी निलम्बन हुआ था।

विभाग में स्थिति सुधारने के लिए जितिन प्रसाद ने प्रयास शुरु किये तो उनके विभागीय अधिकारियों की ओर से बजट की समस्या से रुबरु कराया गया। इसके बाद फिर से जोर देते हुए जितिन ने सड़कों को सूचीबद्ध कर सड़क मरम्मत कार्यों को समय से पूरा करने की अवधि तय करायी। बावजूद इसके तय समय पर सड़क मरम्मत कार्य पूरा नहीं हो सका। सड़कों पर गड्ढ़े तो भरे गये लेकिन पिच बराबर नहीं हुआ। मौके पर पिच की ऊंचाई रोडब्रेेकर जैसी स्थिति पैदा करती है।

उत्तर प्रदेश में अच्छी सड़कें व दुर्घटनाओं से बचाव जैसे बिन्दुओं को लेकर वर्ष 2022 में रोड कांग्रेस का आयोजन हुआ। लोक निर्माण विभाग उत्तर प्रदेश के लिए इसे यादगार व अनुभवपूर्ण कार्यशाला के रुप में बताया गया। लखनऊ के इंदिरा गांधी प्रतिष्ठान के हॉल में रोड कांग्रेस का आयोजन हुआ, जिसमें केन्द्रीय मंत्री नितिन गडकरी, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सड़क सुरक्षा, गुणवत्ता जैसे महत्वपूर्ण बिन्दुओं पर फोकस किया। प्रदेश की सड़कों को सुंदर, सुव्यवस्थित बनाने में खुद का सहयोग करने को भी कहा।

लोक निर्माण विभाग के मंत्री जितिन प्रसाद पहले दिन से आखिरी दिन तक सभी सत्रों को ध्यानपूर्वक सुने, सड़क पर कार्य करने वाले एक्सपर्ट लोगों से वार्ता भी की। रोड कांग्रेस में शामिल हुए विभागाध्यक्ष लोनिवि ने सभी महत्वपूर्ण बिन्दुओं को डायरी पर नोट किया। रोड कांग्रेस को कराने में करोड़ों रुपये खर्च भी हुए।

वर्ष 2022 के अंत तक 200 से ज्यादा सड़कों के मरम्मत कार्य चल रहे हैं और जिसे वर्ष 2023 में पूरा कर देने का दावा किया गया है। प्रदेश के महानगरों में जहां पर स्मार्ट सिटी के अंतर्गत निर्माण कार्य हो रहे हैं, वहां पर भी सड़क मरम्मत के कार्य को 2023 में ही पूरा किया जाना सम्भव है। वहीं वर्ष के अंत में वाराणसी के दौरे पर गये मंत्री जितिन प्रसाद ने सड़क मरम्मत कार्य के वक्त अधिकारियों को स्थल पर मौजूद रहने को कहा है, ये भी आने वाले वर्ष में ही होता हुआ दिख सकेगा।

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