नई दिल्ली। कांग्रेस छोड़ने के बाद गुलाम नबी आजाद (Ghulam Nabi) एक बार फिर से मीडिया से मुखातिब हुए। इस दौरान उन्होंने अपने ऊपर लगे आरोपों का जवाब दिया। उन्होंने कहा कि घर वालों ने घर छोड़ने के लिए जबरन मजबूर किया। जहां घर वालों को लगे कि यह आदमी नहीं चाहिए तो अकलमंदी खुद घर छोड़ने में है। वहीं गुलाम नबी ने भाजपा से सांठगांठ को लेकर भी जवाब दिया। उन्होंने कहा कि जो शख्स (राहुल गांधी) अपनी स्पीच खत्म करने के बाद भरी सदन में पीएम से गले मिले, तो बताएं कि वे मिले हैं या मैं मिला हूं?
पीएम को क्रूर समझता था लेकिन उन्होंने इंसानियत दिखाई: गुलाम नबी
आजाद (Ghulam Nabi) ने कहा कि मैं पीएम मोदी को क्रूर समझता था लेकिन उन्होंने कम से कम इंसानियत तो दिखाई। जब मैं जम्मू-कश्मीर का सीएम था तब गुजरात की टूरिस्ट बस में आतंकी हमला हुआ था। जिसमें कई लोग मारे गए थे। तब उनका फोन आया था तो मैं रो रहा था। मोदी साहब ने मेरे रोने की आवाज सुनी।
वे कभी नहीं चाहते थे कि कोई उन्हें लिखे, उनसे सवाल करे: गुलाम नबी
गुलाम नबी आजाद (Ghulam Nabi) ने कहा कि मोदी तो बहाना है, जी23 की चिट्ठी लिखे जाने के बाद से उनका मेरे साथ विवाद है। वे कभी नहीं चाहते थे कि कोई उन्हें लिखे, उनसे सवाल करे। कांग्रेस की कई बैठकें हुईं लेकिन एक भी सुझाव नहीं लिया गया।
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कांग्रेस में अनपढ़ों की जमात: गुलाम नबी
यह पूछे जाने पर कि क्या वह नई पार्टी बनाने के बाद जरूरत पड़ने पर भाजपा के साथ जाएंगे तो इसका जवाब देते हुए आजाद ने कहा कि कांग्रेस में अनपढ़ों की जमात है, खासकर जो लोग लिपिकीय काम के लिए बैठे हैं। जो जम्मू-कश्मीर को जानते हैं, तो उन्हें पता है कि मैं भाजपा के लिए एक भी वोट की अपील नहीं कर सकता हूं।
कांग्रेस को स्पेशलिस्ट की जरूरत है: गुलाम नबी
कांग्रेस पार्टी में चुनाव के सवाल पर गुलाम नबी आजाद ने कहा है कि मैं कांग्रेस के लिए दुआ ही कर सकता हूं लेकिन कांग्रेस मेरी दुआ से ठीक नहीं होगी उसके लिए दवा चाहिए। अभी उसका डॉक्टर कंपाउंडर है। अभी कांग्रेस को स्पेशलिस्ट की जरूरत है।