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‘भुगतान नहीं तो मतदान नहीं…’, जानें अमेठी में सड़क पर क्यों उतरे लोग

Villagers protest against chit fund companies

Villagers protest against chit fund companies

अमेठी। Amethi जिले में लाखों ग्रामीणों का करोड़ों रु पए लेकर फरार हुई चिटफंड कंपनियों (Chit Fund Companies) के खिलाफ आज ग्रामीणों ने मोर्चा खोल (Protest) दिया है। जहां हजारों की संख्या में गौरीगंज के रणंजय इंटर कॉलेज मैदान पहुंचे ग्रामीणों ने घंटो प्रदर्शन (Protest) के बाद अमेठी कलेक्ट्रेट पहुंचकर जिला प्रसाशन को ज्ञापन सौंपकर पैसा वापस दिलाए जानें की मांग की। वहीं, ग्रामीणों का कहना था कि सरकार ने हमारे पैसे वापस नहीं दिलाए तो सभी पीड़ित ग्रामीण लोकसभा चुनाव का बहिष्कार करेंगे।

दरअसल, अमेठी जिले में पिछले कई दिनों संचालित हो रही सहारा, पर्ल्स, बाइकबोट, टोगो रिटेल, साईं प्रकाश समेत दर्जनों चिटफंड कंपनियां जिले के करीब 6 लाख लोगों का करोड़ोx रुपए लेकर फरार हो गई। वहीं, गाढ़ी कमाई का पैसा जाने के बाद ग्रामीण कई बार सरकारी ऑफिसों के बाहर प्रदर्शन कर अपने पैसों की मांग कर चुके है। लेकिन ग्रामीणों को कही से कोई राहत नहीं मिली।

क्या है मामला?

वहीं, आज ठगी पीड़ित जमाकर्ता परिवार आह्वाहन पर जिले के हजारों पीड़ित गौरीगंज के रणंजय इंटर कालेज मैदान पहुंचे। जहां घंटो प्रदर्शन करने के बाद कलेक्ट्रेट पहुंचे और जिला प्रशासन को ज्ञापन सौंपकर पैसे वापस दिलाए जाने की मांग की।वहीं, पूरे मामले पर ठगी पीड़ित जमाकर्ता परिवार के उत्तर प्रदेश संयोजक ने कहा कि भारत सरकार ने 2019 में एक एक्ट बनाया था, जिसमें जमाकर्ता पीड़ितों के लिए सक्षम अधिकारी कलेक्टर बनाए गए थे।

चिटफट कंपनियां 2 सौ से तीन सौ करोड़ रुपए लेकर फरार

इस एक्ट मे सभी जमाकर्ताओं का आवेदन स्वीकार किया जाएगा और 180 कार्य दिवस में उनका पैसा वापस दिलाया जाएगा।जिले के 6 से सात लाख लोगों का दर्जनों चिटफट कंपनियां 2 सौ से तीन सौ करोड़ रुपए लेकर फरार हो चुकी है।

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ऐसे में सरकार ने जो कानून बनाया है उस कानून के हिसाब से सरकार को कार्यवाही करते हुए सभी को उनका पैसा वापस करना चाहिए। अगर ग्रामीणों का पैसा वापस नहीं मिलता तो जब तक भुगतान नहीं तब तक मतदान नहीं।

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