लखनऊ। प्रदेश में उपभोक्ताओं को निर्बाध एवं बेहतर विद्युत आपूर्ति देने के लिए ऊर्जा विभाग जमीनी स्तर पर विद्युत व्यवस्था की सुदृढ़ीकरण हेतु युद्धस्तर पर कार्य कर रहा। केन्द्र की 17 हजार करोड़ रुपये की आरडीएसएस योजना के तहत प्रदेश की ऊर्जा जरूरतों के मुताबिक इन्फ्रास्ट्रक्चर को नये सिरे से खड़ा करने का प्रयास हो रहा। जर्जर लाइनों एवं विद्युत पोलों को बदलने का कार्य किया जा रहा। ये बातें प्रदेश के ऊर्जा एवं नगर विकास मंत्री एके शर्मा (AK Sharma) ने कही।
उन्होंने (AK Sharma) कहा कि प्रदेश के बढ़ते विद्युत लोड के अनुरूप ही उपकेन्द्रों, फीडरों और ट्रांसफार्मर की क्षमता वृद्धि की जा रही है। जरूरत के अनुसार नये उपकेन्द्र, फीडर बनाये जा रहे हैं और नये ट्रांसफार्मर भी लगाये जा रहे हैं। इससे जहां दोषमुक्त गुणवत्तापूर्ण बिजली उपभोक्ताओं को दी जा सकेगी। वहीं बार-बार होने वाली ट्रिपिंग, फाल्ट के कारण बिजली जाने की समस्या से भी छुटकारा मिलेगा।
सितंबर माह में 3900 करोड़ रूपये की वित्तीय स्वीकृतियां जारी करने का लक्ष्य: एके शर्मा
ऊर्जा मंत्री एके शर्मा (AK Sharma) ने बताया कि पिछले महीने भीषण गर्मी एवं उमस होने के कारण बिजली की मांग अप्रत्याशित रूप से बढ़ गयी थी। उत्तर प्रदेश के इतिहास में अभी तक सबसे ज्यादा बिजली की आपूर्ति 28284 मेगावाट इस वर्ष हुई। विद्युत की निर्बाध आपूर्ति के लिए बिजली के आधारभूत ढ़ाचे को ठीक करने का भी भगीरथ प्रयास किया जा रहा है। विभाग की चार महत्वपूर्ण योजनाओं के जरिये बिजली के इन्फास्ट्रक्चर एवं आधारभूत ढांचे को सुदृढ़ करने का प्रयास चल रहा है।
ऊर्जा मंत्री (AK Sharma) ने बताया कि एडीबी द्वारा सहायता प्राप्त योजना के अर्न्तगत सर्विस एबी केबिल लगाने एवं फीडर अलग करने का कार्य चल रहा है। जिसमें 20,000 मजरों को आच्छादित किया जा चुका है। जुलाई एवं अगस्त 2023 के मात्र 02 महीनों में 14409 ऐसे कार्यों को पूरा किया गया। इसी प्रकार फीडर अलग करने का कार्य किया जा रहा है। अभी तक 500 से ऊपर फीडर को अलग किया गया। लगभग 17000 करोड़ रूपये के खर्च से अमल में लायी गयी आरडीएसएस योजना तेजी से क्रियान्वित हो रही है, जिसमें जुलाई एवं अगस्त 2023 के दो महीनों में 1,76,589 खम्भे लगाये गये एवं चार लाख सर्किट किमी। एचटी लाइन एवं लगभग 1.5 लाख किमी। एलटी लाइनों तथा जर्जर तारों को बदलने का कार्य हुआ। साथ ही 25 हजार सर्किट किलो मीटर फीडर विभाजन का भी कार्य हुआ।
ऊर्जा मंत्री (AK Sharma) ने बताया कि बिजनेस प्लान 2023-24 के अन्तर्गत जुलाई, अगस्त के 02 महीनों में बड़े पैमाने पर छोटे विद्युत उपकेन्द्रों की क्षमता वृद्धि का कार्य किया गया, जिसमें 33,11 केवी के 100 से अधिक सब स्टेशन शामिल हैं। साथ ही 11, 0.4 केवी के 564 नये सर्विस स्टेशन बनाये गये तथा 2100 ऐसे सर्विस स्टेशनों की क्षमता वृद्धि की गयी। जुलाई 2023 के महीने में 33872 ट्रांसफार्मर बदले गये तथा अगस्त, 2023 के महीने में 36734 ट्रांसफार्मर बदले गये।