एक जनपद एक उत्पाद (ओडीओपी) वित्त पोषण सहायता योजना के अंतर्गत विगत वर्ष 2020-21 में सराहनीय प्रगति रही है। सामान्य वर्ष के सापेक्ष महामारी के वर्ष में लगभग दो गुना ऋण वितरित किया गया। कोरोना महामारी से उत्पन्न विकट समस्या के बाद भी 380 करोड़ रुपये का ऋण वितरित कराकर उसके सापेक्ष 94.60 करोड़ रुपये का मार्जिन मनी उपादान भी हस्तशिल्पियों एवं उद्यमियों को उपलब्ध कराया गया।
गुरुवार को यह जानकारी अपर मुख्य सचिव, सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम डॉ नवनीत सहगल ने दी। उन्होंने बताया कि वित्त पोषण योजना को ऑनलाइन करते हुए ऋण आवेदन आमंत्रित किये गए। बैंकों से समन्वय बनाकर पात्र व्यक्तियों को ऋण उपलब्ध कराया और मार्जिन मनी अनुदान भी दिया गया।
उन्होंने बताया कि वित्तीय वर्ष 2019-20 में योजनान्तर्गत लगभग 200 करोड़ धनराशि की परियोजनाओं का वित्त पोषण विभिन्न बैंकों के माध्यम से किया गया था, जिसके सापेक्ष प्रदेश सरकार द्वारा 50.20 करोड़ की मार्जिन मनी उपादान धनराशि विभिन्न उद्यमियों को उपलब्ध कराई गई।
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अपर मुख्य सचिव ने बताया किया ओडीओपी प्रशिक्षण एवं टूलकिट योजना के अंतर्गत विगत वर्ष 16 हजार के वार्षिक लक्ष्य के सापेक्ष शत-प्रतिशत हस्तशिल्पियों एवं कारीगरों को 10 दिवसीय निशुल्क प्रशिक्षण प्रदान करते हुए सभी को निशुल्क उन्नत टूल किट्स उपलब्ध कराई गई। योजनान्तार्गत वार्षिक बजट 40 करोड़ रुपये के सापेक्ष शत-प्रतिशत बजट का सदुपयोग किया गया।
उन्होंने बताया कि एक जनपद एक उत्पाद सामान्य सुविधा केंद्र योजना के अंतर्गत 13 सामान्य सुविधा केन्द्रों को स्वीकृति प्रदान की गयी। इन सभी 13 केन्द्रों के निर्माण का कार्य युद्ध स्तर पर चल रहा है एवं सभी के द्वारा मशीनों के क्रय की कार्यवाही प्रारम्भ कर दी गयी है। योजनान्तर्गत प्राप्त बजट का शत- प्रतिशत सदुपयोग किया गया।