आम आदमी पार्टी (आप) के राज्यसभा सांसद और यूपी प्रभारी संजय सिंह ने गुरुवार को कहा कि उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ‘मारो और मुआवजा दो’ की नीति पर चल रही है।
लखीमपुर खीरी की घटना का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि किसानों की हत्या को लेकर जब पूरा देश शोक में था तब मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी लखनऊ में अमृत महोत्सव मना रहे थे, लेकिन वो मारे गए किसानों के परिवार से मिलने नहीं गए। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के पास ब्राज़ील और अर्जेंटीना के फुटबॉल खिलाड़ियों के निधन पर शोक जताने का वक्त है लेकिन उनके मंत्री के बेटे द्वारा गाड़ी से रौंदकर मौत के घाट उतार दिए गए किसानों के परिवारों से मिलने के लिए उनके पास वक्त नहीं है।
आप सांसद ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट को आज पूछना पड़ा कि हत्यारों की गिरफ्तारी अब तक क्यों नहीं हुई। यह योगी सरकार के लिए शर्म वाली बात है। वह लखीमपुर खीरी में पीड़ित तीनों परिवारों से मिला। सबका एक स्वर में यही कहना था कि मंत्री अजय मिश्र टेनी के बेटे की गाड़ी से किसानों की मौत हुयी है। अब तक कोई कार्रवाई न होने से पीड़ित परिवारों के मन में असंतोष है।
उन्होने कहा कि कुछ दिन पहले ही देश का गृह राज्यमंत्री किसानों को धमकी देते है यह तो रिकॉर्डेड है। इस आधार पर ही मंत्रिमंडल से टेनी की बर्खास्तगी होनी चाहिए। उन्होने कहा कि व्यापारी इंद्रकांत त्रिपाठी का हत्यारा एसपी एक साल से फरार है। गोरखपुर में व्यापारी मनीष गुप्ता के हत्यारे छह पुलिसकर्मी फरार हैं। पहले डाकू-चोर फरार होते थे, लेकिन योगी सरकार में एसपी फरार, इंस्पेक्टर फरार, दारोगा फरार, सिपाही फरार हैं।
संजय सिंह ने तत्काल मंत्री अजय मिश्रा की बर्खास्तगी और उसके हत्यारे बेटे आशीष मिश्रा की गिरफ्तारी की मांग की।