हैदरबाद। तेलंगाना में कांग्रेस (Congress) पार्टी को बड़ा झटका लगा है। यहां हाल ही में गठित प्रदेश कांग्रेस कमेटी के 12 सदस्यों ने पद से इस्तीफा दे दिया है। सदस्यों की ओर से दिए गए त्यागपत्र में पार्टी नेतृत्व पर स्थानीय नेताओं को दरकिनार करने का आरोप लगाया गया है।
उत्तम कुमार की ओर से आरोप लगाया गया है कि पीसीसी के 50% से अधिक सदस्य ऐसे नेता हैं जो हाल ही में टीडीपी से जुड़े थे। इससे पार्टी के लिए बीते छह साल से काम कर रहे नेताओं को निराशा हाथ लगी है।
दो नवंबर को राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा (Bharat Jodo Yatra) हैदराबाद के चार मीनार पहुंची थी। यहां राहुल गांधी के साथ खड़े होकर प्रदेश इकाई के वरिष्ठ नेताओं ने एकता का संदेश दिया था। मुश्किल से डेढ़ महीने का वक्त बीता है और पीसीसी के 12 वरिष्ठ सदस्यों ने बगावत दिखाकर पार्टी (Congress)को अलविदा कह दिया। दरअसल, तेलंगाना कांग्रेस में अंदरूनी लड़ाई कोई नई बात नहीं है। पीसीसी चीफ रेवंत रेड्डी के खिलाफ पहले से पार्टी के कई नेता विरोध के स्वर उठा चुके हैं। अब वरिष्ठ नेताओं की बयानबाजी ने गुस्से के घड़े को फोड़ दिया।
प्रदेश कांग्रेस कमेटी (पीसीसी) के 12 सदस्यों ने कुछ वरिष्ठ नेताओं की टिप्पणियों के विरोध में रविवार को इस्तीफा दे दिया। इन सदस्यों में कांग्रेस विधायक डी. अनसूया (सीतक्का) और पूर्व विधायक वी. नरेंद्र रेड्डी जैसे बड़े चेहरे भी शामिल हैं। राज नरसिंह ने जब यह टिप्पणी की तब कांग्रेस विधायक दल के नेता मल्लू भट्टी विक्रमार्क, लोकसभा सदस्य एन. उत्तम कुमार रेड्डी, पूर्व सांसद मधु यशकी गौड़ और पार्टी विधायक टी. जयप्रकाश रेड्डी भी उनके साथ मौजूद थे।
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इस पूरे घटनाक्रम में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष और सांसद ए. रेवंत रेड्डी कुछ कहने को तैयार नहीं हैं। रेड्डी ने अंतर्कलह को लेकर पत्रकारों के सवालों का प्रत्यक्ष रूप से जवाब नहीं दिया। उन्होंने कहा कि पार्टी आलाकमान इन सभी मुद्दों पर गौर करेगा। उन्होंने कहा कि अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी (एआईसीसी) के निर्देशानुसार गांव से लेकर राज्य स्तर तक के नेता 26 जनवरी को तेलंगाना में पदयात्रा निकालकर राज्य सरकार और केंद्र सरकार की “नाकामियों” को उजागर करेंगे।