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दुनिया के 330 करोड़ कामगारों में से 50 फीसदी के नौकरियों पर खतरा

Desk by Desk
15/10/2020
in ख़ास खबर, राष्ट्रीय
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International Labor Organization

अंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठन

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नई दिल्ली। कोरोना महामारी की वजह से दुनियाभर में काम करने वाले करीब 165 करोड़ लोगों पर बेरोजगार होने का खतरा है। अंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठन (आईएलओ), खाद्य और कृषि संगठन (एफएओ), अंतरराष्ट्रीय कोष (आईएफएडी) और विश्व स्वास्थ्य संगठन की की ओर से जारी एक संयुक्त बयान में कहा गया कि दुनियाभर के कुल 330 करोड़ कामगारों में से 50 फीसदी के नौकरियों पर खतरा मडरा रहा है। यह संकट कोरोना पर काबू नहीं होने के कारण पैदा हुआ है।

बयान में कहा गया कि महामारी ने एक नाटकीय स्थिति पैदा कर दी है। दुनिया भर में मानव जीवन का नुकसान और सार्वजनिक स्वास्थ्य और खाद्य प्रणालियों के लिए एक अभूतपूर्व चुनौती पैदा कर दिया है क्योंकि लाखों उद्यमों को बाजार में टिके रहने का खतरा है। इससे आने वाले दिनों में बेरोजारी की स्थिति भयंकर होने का अनुमान है।

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रिपोर्ट के अनुसार, कोरोना के चलते दुनियाभर में कुपोषित लोगों की संख्या, वर्तमान में लगभग 69 करोड़ है जो वर्ष के अंत तक 13.2 करोड़ बढ़ सकती है। रिपोर्ट के अनुसार, असंगठित क्षेत्र के सामने रोजी रोटी का संकट पैदा हो गया है। लॉकडाउन के कारण नौकरी चले जाने और काम ना मिलने की वजह से यह संकट पैदा हुआ है।

इंफॉर्मल इकोनॉमी में उन कामगारों को शामिल किया जाता है जिसका सरकार से कोई वास्ता या यूं कहें कि सरकार जिनकी निगरानी नहीं रखती है, जिसमें कामगार किसी तरह के टैक्स का भुगतान नहीं करता है। इसमें रेस्तरां कर्मचारी, क्लीनर और सड़क विक्रेता आदि शामिल हैं।

Tags: coronaemploymentFood and Agriculture OrganizationInternational Labor Organizationjobsretrenchmentunemploymentअंतर्राष्ट्रीय श्रम संगठनकोरोनाखाद्य और कृषि संगठनछंटनीजॉबनौकरीबेरोजगारीरोजगार
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