हर साल सावन मास की पूर्णिमा तिथि को राखी अर्थात रक्षाबंधन (Raksha Bandhan) का पावन पर्व मनाया जाता हैं जिसमें हर बहिन अपने भाई को रक्षासूत्र बांधते हुए उसके सुखी जीवन की कामना करती हैं और भाई भी बहिन को उसकी रक्षा करने का वादा करता हैं। ज्योतिष में भी इस दिन का बड़ा महत्व माना जाता हैं जिसमें कुछ उपायों को कर जीवन की कई परेशानियां दूर की जा सकती हैं। आज इस कड़ी में हम आपको कुछ ऐसे ही उपायों की जानकारी देने जा रहे हैं। तो आइये जानते हैं इनके बारे मे।
देवताओं को बांधे राखी
मान्यता है कि रक्षाबंधन (Raksha Bandhan) के पवित्र दिन पर देवताओं को राखी बांधने से जीवन की परेशानियां दूर होती है। घर में सुख-समृद्धि, खुशहाली का वास होने के साथ रिश्तों मे मिठास आती है। इसलिए राखी के दिन सबसे पहले प्रथम पूजनीय गणेश जी और संकटमोचन हनुमान जी को को राखी बांधे। मान्यता है कि इससे भाई- बहन के बीच मन मुटाव दूर होकर प्यार बढ़ता है।
भाई को नजरदोष से बचाने के लिए
आप अपने भाई को नजरदोष से बचाने के लिए फिटकरी से जुड़ा उपाय कर सकती है। इसके लिए राखी के दिन फिटकरी का एक टुकड़ा लेकर उसे 7 बार भाई के ऊपर से घुमाएं। उसके बाद उस टुकड़े को जलते चूल्हे में डालकर जला दें। आप चाहे तो इसे किसी सुनसान चौराहें पर भी फेंक सकती है। मान्यता है कि इससे नजरदोष से छुटकारा मिलता है।
आर्थिक स्थिति होगी मजबूत
रक्षाबंधन (Raksha Bandhan) के दिन बहन अपने भाइयों को गुलाबी रंग के कपड़े में सुपारी, चावल और 1 एक रूपए का सिक्का बांध कर दें। फिर भाई उस पोटली को तिजोरी या धन रखने वाली जगह पर रख दें। मान्यता है कि इससे आर्थिक स्थिति मजबूत होती है।
मानसिक शांति के लिए
रक्षाबंधन (Raksha Bandhan) पूर्णिमा के दिन आता है। इस शुभ तिथि पर चंद्रमा अपने पूर्ण रूप में श्रावण नक्षत्र में होता है। ज्योतिषशास्त्र के अनुसार, चंद्रमा मन का कारक होता है। ऐसे में इस दिन चंद्र देव को अर्घ्य देने व पूजा करने से मानसिक शांति मिलती है।
कुंडली में चंद्र मजबूत करने के लिए
जिन लोगों की कुंडली में चंद्रमा कमजोर है वे सावन पूर्णिमा पर चंद्रदेव की पूजा करें। इसके साथ ही इस शुभ दिन पर ‘ऊं सोमेश्वराय नम:’ मंत्र का जप करें। मान्यता है कि इससे कुंडली में चंद्रमा मजबूत होने के साथ जीवन की समस्याओं से छुटकारा मिलता है।