उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को कोविड-19 प्रबंधन को लेकर टीम-11 के साथ बैठक में कहा कि प्रदेश में वैक्सीन की पर्याप्त उपलब्धता है। इस मौके पर उन्होंने आगामी 01 मई से शुरू होने जा रहे टीकाकरण अभियान को लेकर तैयारी पूरा करने को दिशा-निर्देश दिया।
योगी ने बताया कि प्रदेश में अब तक 97,83,416 लोगों को कोविड टीके की पहली डोज दी जा चुकी है, जबकि 20 लाख से अधिक लोगों को दोनों डोज लग चुकी है। इस तरह टीके की 1,17,83,880 डोज एडमिनिस्टर की जा चुकी है। उन्होंने कहा कि हर तरह की चुनौती के लिए हमें तैयार रहना होगा। स्वास्थ्य विभाग और चिकित्सा शिक्षा विभाग बेड बढ़ोतरी के लिए कार्ययोजना तैयार कर लागू करे। सभी जिलों में कम से कम दो-दो और सीएचसी को इस कार्य में जोड़ें। वहीं, अन्य नए मेडिकल कॉलेजों को डेडिकेटेड कोविड अस्पताल के रूप में तैयार कराए जाने के निर्देश दिए। कहा कि इन अस्पतालों में ऑक्सीजन, वेंटिलेटर, प्रशिक्षित मानव संसाधन की उपलब्धता सुनिश्चित कराई जाए।
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मुख्यमंत्री ने कहा कि निजी अस्पतालों में कोविड मरीजों के उपचार के लिए और कोविड टेस्ट के लिए शासन स्तर पर दरें तय की गई हैं। मंडलायुक्त या जिलाधिकारी यह सुनिश्चित करें कि कहीं भी ओवरबिलिंग न हो। शासन ने कोविड मरीजों के लिए डिस्चार्ज पॉलिसी तय की है, उसे सभी जिलों में समान रूप से प्रभावी बनाया जाए। उन्होंने कहा कि एंटीजन टेस्ट के पॉजिटिव होने के बाद हॉस्पिटल में भर्ती करने के लिए आरटीपीसीआर टेस्ट के पॉजिटिव होने की कोई आवश्यकता नहीं है। सभी जिलों में इस व्यवस्था को प्रभावी ढंग से लागू कराया जाए।
योगी ने कहा कि स्वास्थ्य विभाग तथा चिकित्सा शिक्षा विभाग यह सुनिश्चित कराए कि सभी सरकारी और निजी अस्पताल जिनकी क्षमता 100 से अधिक बेड की है, उनके पास स्वयं का ऑक्सीजन प्लांट हो। यह कार्य प्रदेश में अभियान के रूप में चल रहा है। निजी क्षेत्र को भी प्रोत्साहित करें, सरकार सभी जरूरी सहयोग देगी। ऑक्सीजन प्लांट स्थापना की कार्यवाही तेज की जाए, इसकी हर दिन समीक्षा की जाए। इस कार्य में भारत सरकार का भी सहयोग प्राप्त हो रहा है। प्लान्ट स्थापना में भारत सरकार को अविलंब प्रस्ताव भेज दिया जाए।
हॉस्पिटल में भर्ती होने के लिए एंटिजन टेस्ट की पॉजिटिव रिपोर्ट काफी : योगी
योगी ने कहा कि प्रदेश में ऐसे सभी हॉस्पिटल जहां कोरोना संक्रमित मरीजों का इलाज हो रहा है, प्रत्येक दिन में दो बार अस्पताल में रिक्त बेड का विवरण सार्वजनिक करें। यह विवरण जिले के इंटीग्रेटेड कंट्रोल एंड कमांड सेंटर के पोर्टल पर भी अपलोड कराया जाए। बेड का आवंटन पूरी पारदर्शिता के साथ किया जाना चाहिए।