उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शनिवार को यहां कहा कि अयोध्या की प्राचीन संस्कृति, विरासत व परम्पराओं को अक्षुण्ण रखते हुए सभी आधुनिक सुविधाओं का समावेश कर इसका सर्वांगीण विकास किया जाना हमारी प्राथमिकता है। उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार के सहयोग से उप्र सरकार अयोध्या के समग्र विकास के लिए पूरी प्रतिबद्धता से कार्य कर रही है।
मुख्यमंत्री योगी के समक्ष आज यहां अयोध्या के विजन डाॅक्युमेण्ट, कार्यान्वयन रणनीति एवं समेकित अवसंरचना विकास योजना के सम्बन्ध में प्रस्तुतीकरण किया गया। कार्यक्रम में प्रदेश के वित्त मंत्री सुरेश खन्ना, परिवहन राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) अशोक कटारिया तथा अयोध्या के मण्डलायुक्त व जिलाधिकारी वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जुड़े हुए थे। मुख्यमंत्री ने विजन डाॅक्युमेण्ट के सम्बन्ध में सुझाव व आवश्यक दिशा-निर्देश देते हुए संशोधनों के साथ इसे शीघ्र प्रस्तुत किए जाने के निर्देश दिए।
अन्तर्विभागीय समन्वय के साथ विकास कार्य में तेजी लाने के निर्देश
इस दौरान मुख्यमंत्री योगी ने अन्तर्विभागीय समन्वय के आधार पर अयोध्या नगरी के विकास से सम्बन्धित सभी विभागों को तेजी से कार्यवाही करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि अयोध्या के धार्मिक, आध्यात्मिक तथा सांस्कृतिक महत्व को दृष्टिगत रखते हुए इसे विश्वस्तरीय धार्मिक, वैदिक व सोलर सिटी के रूप में विकसित किए जाने सम्बन्धी कार्यों को प्रारम्भ करते हुए निर्धारित समयावधि में पूर्ण किया जाए। सभी विकास कार्यों में एक दीर्घकालिक दृष्टिकोण के साथ आगे बढ़ाना होगा।
सनातन परम्परा के अनुसार हो विकास
मुख्यमंत्री ने कहा कि अयोध्या को सनातन परम्परा के अनुसार आध्यात्मिक केन्द्र, वैश्विक पर्यटन स्थली तथा सस्टेनेबल नगरी के रूप में विकसित किया जाए। अयोध्या के विकास से यह धाम वैश्विक पहचान स्थापित करते हुए अपने मौलिक, धार्मिक, ऐतिहासिक, सांस्कृतिक व आध्यात्मिक स्वरूप के साथ उभरेगा। उन्होंने कहा कि जलाशयों का संरक्षण, इण्टेलीजेण्ट ट्रैफिक मैनेजमेण्ट सिस्टम, पशु संरक्षण, बाहरी रिंग रोड और अन्य सड़क परियोजनाओं, सोलर सिटी, वृक्षारोपण, नई रोजगार गतिविधियों आदि के लिए कार्य योजना बनाकर तेजी से कार्यवाही की जाए।
भूमि अधिग्रहण के मामलों का सहमति के आधार पर हो निस्तारण
योगी ने कहा कि अयोध्या की विकास परियोजनाओं के सम्बन्ध में भूमि अधिग्रहण के मामलों को संवाद व सहमति के आधार पर शीघ्र निस्तारित किया जाए। प्रभावित दुकानदारों व निवासियों के व्यवस्थित पुनर्वास की व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाएं। इस सम्बन्ध में दुकानों तथा आवासों की उपलब्धता की योजना बनाकर कार्यवाही की जाए। उन्होंने कहा कि जल निकासी, अण्डरग्राउण्ड केबलिंग के लिए यूटिलिटी डक्ट की व्यवस्थाएं पूर्व से ही सुनिश्चित कर ली जाएं, जिससे सड़कों की बार-बार खुदाई न करनी पड़े।
उन्होंने कहा कि हेरिटेज लाइटिंग की भी व्यवस्थाएं की जाएं। पंचकोसी, चैदह कोसी तथा चैरासी कोसी परिक्रमा के महत्व के दृष्टिगत मार्गों का निर्माण किया जाए। मार्गों पर पर्यटन विभाग द्वारा जन सुविधाएं विकसित करायी जाएं। उन्होंने पर्यटन विभाग को अयोध्या के पौराणिक, धार्मिक व ऐतिहासिक महत्व के स्थलों को भी विकसित करने के निर्देश दिए। उन्होंने अयोध्या के विकास कार्यों और परियोजनाओं के लिए हर स्तर पर त्वरित निर्णय लेकर सभी योजनाओं को निर्धारित टाइम लाइन में पूरा किए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि विभिन्न पंथ व सम्प्रदायों, अन्य संस्थाओं, अतिथि गृहों, विश्रामालय आदि के लिए भूमि की व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाएं। प्रस्तावित अन्तर्राष्ट्रीय संग्रहालय को प्राचीन गौरव के साथ आधुनिक ज्ञान-विज्ञान की परम्परा से समावेशित करते हुए विकसित किया जाए।
विकास में अयोध्या के पौराणिक स्वरूप की हो अनुभूति
मुख्यमंत्री ने कहा कि अयोध्या नगरी का विकास इस प्रकार किया जाए कि यहां आने वाले पर्यटकों व श्रद्धालुओं को अयोध्या के पौराणिक स्वरूप की अनुभूति हो। सरयू नदी में सिल्ट जमाव के दृष्टिगत अयोध्या के सभी घाटों को संरक्षित करते हुए, उनका सौन्दर्यीकरण किया जाए। रिवर फ्रण्ट का विकास हो। नगरवासियों को उत्कृष्ट बुनियादी सुविधाएं मिलें। यातायात की सुगम व्यवस्था हो।
प्रस्तुतीकरण के दौरान अधिकारियों ने मुख्यमंत्री को अवगत कराया कि अयोध्या के विकास के सम्बन्ध में सभी हितधारकों से बातचीत के आधार पर विजन डाॅक्युमेण्ट को तैयार किया गया है। अयोध्या मेन स्पाइन रोड, सुग्रीव किले से श्रीराम मन्दिर मार्ग, श्रृंगार हाट से श्रीराम मन्दिर तथा पंचकोसी परिक्रमा मार्ग से सम्बन्धित परियोजनाएं क्रियान्वित की जा रही हैं। इनके अलावा, मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम अन्तर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा, ग्रीनफील्ड टाउनशिप, पर्यटन सुविधा केन्द्र, अन्तर्राष्ट्रीय संग्रहालय, स्मार्ट रोड, रिवर फ्रण्ट डेवलेपमेण्ट परियोजनाओं पर भी कार्य किया जा रहा है। भूमि अधिग्रहण का भी कार्य किया जा रहा है।
इस अवसर पर प्रदेश के उप मुख्यमंत्री डाॅ0 दिनेश शर्मा, नगर विकास मंत्री आशुतोष टण्डन, जल शक्ति मंत्री डाॅ0 महेन्द्र सिंह, नागरिक उड्डयन मंत्री नन्द गोपाल गुप्ता ‘नन्दी’, पर्यटन, संस्कृति एवं धर्मार्थ कार्य राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डाॅ0 नीलकंठ तिवारी, मुख्य सचिव आरके तिवारी, अपर मुख्य सचिव गृह अवनीश कुमार अवस्थी, अपर मुख्य सचिव सूचना एवं एमएसएमई नवनीत सहगल, सूचना निदेशक शिशिर सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।