CAA-NRC के विरोध में उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में पिछले साल दिसंबर में हिंसक प्रदर्शन हुआ था। वहीं, योगी सरकार का प्रदर्शनकारियों के खिलाफ एक्शन लगातार जारी है।
प्रदर्शनकारियों पर इनाम घोषित किया गया है। पुराने लखनऊ में कई जगह आरोपियों के पोस्टर लगाए गए हैं। मौलाना सैफ अब्बास सहित 14 अन्य आरोपियो के पोस्टर सड़कों पर लगाए गए हैं।
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वहीं, आठ प्रदर्शनकारियों को गैंगस्टर के मुकदमे में वांटेड घोषित किया गया है। आरोपियो के घर के बाहर भी नोटिस लगाया गया है। बता दें कि लखनऊ में 19 दिसंबर को सीएए-एनआरसी के खिलाफ प्रदर्शन हुआ था। इसमें पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच में हिंसा हुई थी। जिसके बाद लखनऊ पुलिस ने एफआईआर लिखकर कई आरोपियों को गिरफ्तार किया था। हिंसा में शामिल लोगों के पोस्टर भी चौराहों पर लगाए गए थे।
थाना ठाकुरगंज में दर्ज एफआईआर के आठ आरोपी अभी भी फरार हैं जिनके खिलाफ पुलिस ने सोमवार को धारा 82 की कार्रवाई करते हुए डुगडुगी बजाकर नोटिस चस्पा किया।
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इससे पहले ज्वाइंट कमिश्नर ऑफ पुलिस नवीन अरोड़ा ने कहा कि ठाकुरगंज थाने में दर्ज मामले में 27 ऐसे आरोपी थे जो हिंसा में शामिल थे। इनमें 11 लोगों को अरेस्ट किया जा चुका है और एक आरोपी ने सरेंडर कर दिया था। हालांकि, 7 आरोपियों ने कोर्ट से गिरफ्तारी का स्टे ले लिया था जिसके बाद बचे हुए 8 आरोपियों के खिलाफ गुंडा एक्ट की कार्रवाई करते हुए धारा 82 की कार्रवाई की गई है जिसमें उनके घर के बाहर डुगडुगी बजाकर नोटिस चस्पा किया गया।