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चीन ने पहली बार माना, गलवान घाटी की हिसंक झड़प में मारे गए थे उसके फौजी

नई दिल्ली। भारत और चीन के बीच मई की शुरुआत से चीन वास्तविक नियंत्रण रेखा पर घुसपैठ की कोशिश कर रहा है, जिसका भारतीय सेना के जवान उसे मुंहतोड़ जवाब दे रहे हैं।

बता दें कि चीन ने पहली बार माना है कि गलवान घाटी की झड़प में उसके सैनिकों की भी मौत हुई थी। इससे पहले तक चीन इस बात को मानने से इनकार कर रहा था।

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चीनी अखबार ग्लोबल टाइम्स के संपादक ने माना कि गलवान घाटी में चीन की सेना को नुकसान पहुंचा था। इस झड़प में कुछ जवानों की जान गई थी। अखबार के प्रधान संपादक हू शिजिन ने रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के एक बयान को ट्वीट कर लिखा कि जहां तक मुझे पता है गलवान घाटी की झड़प में चीनी सेना के जवानों की मरने वाली संख्या भारत के 20 के आंकड़े से कम थी। उन्होंने कहा कि भारत ने चीन के किसी सैनिक को बंदी नहीं बनाया, जबकि चीन ने उस दिन ऐसा किया था।

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बता दें कि ग्लोबल टाइम्स चीन की सत्तारूढ़ कम्युनिस्ट पार्टी का आधिकारिक अखबार है, जिसे पीपुल्स डेली द्वारा प्रकाशित किया जाता है। शिजिन ने ट्वीट के साथ एक स्क्रीनशॉट साझा किया है जिसमें एक मीडिया रिपोर्ट के हवाले से लिखा है कि रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा था कि झड़प के दौरान भारत ने चीनी सेना को भारी नुकसान पहुंचाया था।

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वहीं गुरुवार को रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने राज्यसभा में भारत-चीन सीमा विवाद मुद्दे पर बयान दिया था। उन्होंने कहा कि हम पूर्वी लद्दाख में चुनौती का सामना कर रहे हैं, हम मुद्दे का शांतिपूर्ण ढंग से हल करना चाहते हैं। उन्होंने कहा कि हमारे सशस्त्र बल देश की संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता की रक्षा के लिए डटकर खड़े हैं।

चीन ने लद्दाख में कर रखा है अनधिकृत कब्जा 

राजनाथ सिंह ने कहा कि चीन, भारत की लगभग 38,000 स्क्वायर किलोमीटर भूमि पर अनधिकृत कब्जा लद्दाख में किए हुए है। इसके अलावा, 1963 में एक तथाकथित बाउंड्री अग्रीमेंट के तहत, पाकिस्तान ने पीओके की 5,180 स्क्वायर किलोमीटर भारतीय जमीन अवैध रूप से चीन को सौंप दी है। इसके साथ ही अरुणाचल प्रदेश में भारत-चीन सीमा के पूर्वी क्षेत्र में भारतीय क्षेत्र के लगभग 90,000 वर्ग किलोमीटर पर चीन अपना दावा करता है।

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राजनाथ सिंह ने कहा कि मैं देश के 130 करोड़ लोगों को आश्वस्त करना चाहता हूं कि हम देश का मस्तक किसी भी कीमत पर झुकने नहीं देंगे। न ही हम किसी का मस्तक झुकाना चाहते हैं। उन्होंने कहा कि हमारी सेना ने गलवान में चीन को भारी नुकसान पहुंचाया। राजनाथ सिंह ने कहा कि चीन की कथनी और करनी में फर्क है।

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